नयी दिल्ली: स्वतंत्रता दिवस के मौके पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि कोरोनरी स्टेंट की कीमत तय करने की हाल की पहल के बाद सरकार घुटने की सर्जरी की कीमत कम करने के उपायों पर काम कर रही है।
लाल किले की प्राचीर से स्वतंत्रता दिवस के मौके पर दिए भाषण में मोदी ने कहा कि ‘जन औषधि केंद्रों’ के माध्यम से सस्ती दवाएं मुहैया कराई जा रही हैं जो गरीबों के लिए वरदान है।
उन्होंने कहा, ‘‘स्टेंट के ऑपरेशन का खर्च देश में कम हो गया है। आगामी दिनों में घुटने का ऑपरेशन कराने की सभी सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हमारा प्रयास है कि गरीबों और मध्य वर्ग के लिए इस तरह के खर्च कम हों और इसके लिए हम कदम उठा रहे हैं।’’ सरकार ने 13 फरवरी को जीवन रक्षक कोरोनरी स्टेंट, धमनी में डाले जाने वाले धातु के ट्यूब की कीमतों में 85 फीसदी तक कमी कर दी गई जिससे दिल के लाखों रोगियों को राहत मिली।
मोदी ने कहा कि सरकार ने डायलिसिस की सुविधा देने का निर्णय किया है जो पहले केवल राज्य मुख्यालयों में उपलब्ध होती थी और अब इसे देश के हर जिला केंद्रों में मुहैया कराया जाएगा। उन्होंने कहा कि इस सुविधा को 350 से 400 जिलों में मुहैया कराया गया है।
प्रधानमंत्री ने संशोधित मातृत्व लाभ कानून के बारे में भी बताया जिसके तहत वेतन के साथ छुट्टी की समय सीमा को 12 हफ्ते से बढ़ाकर 26 हफ्ते कर दिया गया है।
शिक्षा के क्षेत्र में उपलब्धियां गिनाते हुए मोदी ने कहा कि विश्वस्तरीय 20 विश्वविद्यालय स्थापित करने की सरकार की योजना महत्वपूर्ण कदम है।
उन्होंने कहा, ‘‘20 विश्वस्तरीय विश्वविद्यालयों की स्थापना कर हमने शिक्षा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कदम उठाया है। सरकार उनके कामकाज में हस्तक्षेप नहीं करेगी और उन्हें एक हजार करोड़ की सहायता देने को भी तैयार है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘पिछले तीन वर्षों में हमने छह नये भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान :आईआईटी:, सात भारतीय प्रबंधन संस्थान :आईआईएम: और आठ भारतीय सूचना प्रौद्योगिकी संस्थान :आईआईआईटी: खोले हैं। इसके अलावा शिक्षा क्षेत्र को नौकरी के अवसर से जोड़ा है।’’