केन्द्रीय पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार), प्रधानमंत्री कार्यालय, कार्मिक, लोक शिकायत, पेंशन, परमाणु ऊर्जा तथा अंतरिक्ष राज्य मंत्री डॉ. जितेन्द्र सिंह ने कहा कि कुछ क्षेत्रों में उत्पन्न धारणाओं के विपरीत जीएसटी से अनेक वस्तुओं पर कर कम होगा। 01 जुलाई से जीएसटी लागू होने से करों की वर्तमान दर कम होने के परिणामस्वरूप गरीबों और निचले मध्यम वर्ग को भारी राहत मिलेगी। डॉ. जितेन्द्र सिंह आज यहां केंद्रीय पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास के अधिकारियों तथा दिल्ली स्थित पूर्वोत्तर राज्यों के रेजीडेंट कमिश्नरों के साथ जीएसटी के विभिन्न पहलुओं पर विचार करने के लिए आयोजित एक बैठक को संबोधित कर रहे थे।
डॉ. जितेन्द्र सिंह ने बताया कि जीएसटी लागू होने पर अनेक वस्तुओं दूध का पाउडर, दही, लस्सी, बटर मिल्क, पनीर, मसालों, चाय, गेहुँ, चावल, फूल, सोयाबीन तेल, सरसों का तेल, गुड़, बोतल बंद पानी, बर्फ, कोयला, घरेलू रसोई गैस, टूथपेस्ट/टूथ पाउडर, साबुन के साथ-साथ चिकित्सा वस्तुएं जैसे इंसुलिन, एक्स-रे फिल्म और चश्मे के लैंस/काँच पर वर्तमान में लागू कर दर की तुलना में कर दर कम हो जाएगी। उन्होंने कहा कि कुछ ऐसी वस्तुओं पर जिन पर कर दर अधिक होने की उम्मीद दिखाई दे रही है वहां सच्चाई यह है कि इन पर कर लगे हुए थे जो दिखाई नहीं देते थे। यहाँ तक की करों का दायरा भी समान है। दूसरी तरफ कुछ ऐसी वस्तुएं भी हैं जहाँ जीएसटी में शून्य कर है।
पूर्वोत्तर में इंटरनेट कनेक्टीविटी के मुद्दे पर संज्ञान लेते हुए डॉ. जितेन्द्र सिंह ने कहा कि अनेक आसान विकल्प ढूंढे जा रहे हैं। उन्होंने याद दिलाया कि इंटरनेट कनेक्टीविटी की जरूरत केवल पंजीकरण अथवा लॉग-इन के समय होती है। उन्होंने कहा कि आरंभिक परिवर्तन की अवधि के दौरान व्यापारियों और अन्य की सुविधा के लिए जीएसटी 20 अगस्त, 2017 तक दो महीने के लिए, इसके बाद 2 सितम्बर 2017 और इसके बाद नियम के मुताबिक हर महीने भरा जाएगा। इस बीच नया पंजीकरण 25 जून को शुरू होगा।
डा. जितेन्द्र सिंह ने कहा कि पूर्वोत्तर के अधिकारियों के लिए 2 दिन का प्रशिक्षण कार्यक्रम शिलांग में नियमित आधार पर चलाया जा रहा है और इसी तरह का एक कार्यक्रम फरीदाबाद में चल रहा है।
पूर्वोत्तर के लिए 10 लाख रूपये कि छूट का जिक्र करते हुए डा. जितेन्द्र सिंह ने कहा कि इससे पहले पूर्वोत्तर के कुछ राज्यों में यह काफी कम था। जैसे उदाहरण के लिए सिक्किम के लिए 3 लाख रूपये, अरूणाचल प्रदेश के लिए 2 लाख रूपये और असम के लिए 6 लाख रूपये था।
10 comments