ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट मैच में हैट-ट्रिक ले चुके हरभजन सिंह ने शुक्रवार को कहा कि बाएं हाथ के स्पिनर कुलदीप यादव ने हैट-ट्रिक लेकर टीम में अपनी जगह वैसे ही पक्की कर ली है जैसे उन्होंने 2001 में की थी. हरभजन ने उस ऐतिहासिक मैच की हैट-ट्रिक को याद करते हुए कहा, ‘वही विपक्ष, वही लम्हा, वही मैदान और उसी उम्र का दूसरा स्पिनर. जब मैं कुलदीप को गेंदबाजी करते देख रहा था तो मुझे मार्च 2001 में खेली गई कोलकाता टेस्ट मैच की याद आ रही थी. यह महान उपलब्धि है.’
उन्होंने कहा, ‘एक युवा स्पिनर के तौर पर जब आप अपने करियर के शुरुआती दौर में हैट-ट्रिक लेते हैं तो आपका आत्म विश्वास दूसरे स्तर पर चला जाता है. ये ऐसी उपलब्धि है जिसकी याद हर क्रिकेटर पूरी जिंदगी संजो कर रखना चाहता है.’ अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में सात सौ से ज्यादा विकेट लेने वाले भज्जी ने कहा, ‘ईडन गार्डंस कभी किसी को खाली हाथ नहीं भेजता और यह इस उपलब्धि को हमेशा क्रिकेट इतिहास में याद रखा जाएगा.’
हरभजन को लगता है कि 22 वर्षीय कुलदीप के इस प्रदर्शन के बाद टीम प्रबंधन को वनडे में अश्विन और जडेजा को टीम में लाने में परेशानी होगी. भज्जी से जब पूछा गया कि टीम के दूसरे स्पिनर युजवेन्द्र चाहल भी अच्छी गेंदबाजी कर रहे हैं. ऐसे में अश्विन और जडेजा के लिए टीम में जगह बनाना कितना मुश्किल है तो उन्होंने कहा, ‘यह हमेशा मुश्किल होने वाला है. अगर आपके मौजूदा दोनों स्पिनर अच्छा कर रहे हैं तो वरिष्ठ स्पिनरों के लिए टीम में जगह बनाना मुश्किल हो जाता है. जड्डू (जडेजा) और अश्विन के लिए वनडे टीम में वापसी करना काफी चुनौतिपूर्ण होने वाला है. फिलहाल दोनों युवा (कुलदीप और चाहल) अच्छा कर रहे और मुझे नहीं लगता उन्हें बदलने की जरूरत है. भविष्य में क्या होगा इसका आप अंदाजा नहीं लगा सकते.’
हरभजन ने दोनों गेंदबाजों की तारीफ करते हुए कहा कि कुलदीप और चाहल की जोड़ी इसलिए भी खास हैं क्योंकि दोनों कलाई के स्पिनर है, कलाई के स्पिनर हालत और पिच से मिलने वाली मदद पर निर्भर नहीं होते. चाहल के पास अच्छी गुगली का विकल्प है और उनमें गेंद को ज्यादा घुमाने की क्षमता भी है. कुलदीप के पास भी गेंद को दोनों ओर घुमाने की कला है. अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अच्छा करने के लिए जरूरी एक्स-फैक्टर भी उनके साथ है.’
अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में भारत की ओर से तीसरे सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले इस गेंदबाज के मुताबिक जब दोनों साथ में गेंदबाजी करते है तो हवा में उनकी गेंद की गति में विविधता भी विपक्षी बल्लेबाजों को परेशान करती है. उन्होंने कहा, ‘दोनों की गति में अंतर है, कुलदीप धीमी रफ्तार से फ्लाइटेड गेंदें फेंकते है जबकि चाहल ज्यादा फ्लाइट देते हैं और थोड़ी तेज गेंद फेंकते हैं. दोनों एक दूसरे का साथ बखूबी ही देते हैं. वे परिपक्व हैं और खेल की स्थिति को पढ़ने की उनकी कला से मैं प्रभावित हूं.’
2011 में वर्ल्ड कप विजेता भारतीय टीम का हिस्सा रहे हरभजन ने कहा कि वर्ल्ड कप में अभी काफी समय है और फिलहाल यह तय नहीं किया जा सकता कि वर्ल्ड कप की टीम में कौन होगा. उन्होंने कहा, ‘मुझे वर्ल्ड कप के बारे में नहीं पता. वर्ल्ड कप में अभी काफी समय है. ईमानदारी से कहूं तो दोनों काफी अच्छा कर रहे हैं और मुझे उन पर फक्र है.’