देहरादून: प्रदेश की पशुपालन राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) रेखा आर्या ने विधान सभा स्थित कार्यालय कक्ष में पशुपालन विभाग की समीक्षा की। कृषकों के दोगुनी आय वृद्धि के सन्दर्भ में पशुपालकों के आय वृद्धि पर अपना ध्यान फोकस करने का निर्देश विभाग को दिया। उन्होंने कहा पशुओं के नस्ल सुधार, सहकारिता ऋण एवं प्रशिक्षण द्वारा आय-वृद्धि पर जोर दिया जाय।
बैठक में न्याय पंचायत स्तर पर आवश्यकतानुसार महिला पैरा विड को पशुपालन नस्ल सुधार के लिए तैनात करने का निर्देश दिया गया। अभी तक पैरा विड के क्षेत्र में पुरूष ही काम करते रहे हैं। विभाग में महिला पशु चिकित्सकों की संख्या भी प्रर्याप्त है। इसको देखते हुए पहाडी जनपदों में महिला पैरा विड को तैनात कर, इन्हें पशुपालन की ट्रेनिंग देते हुए स्वरोजगार वृद्धि पर जोर दिया गया। इसके अतिरिक्त छोटे स्तर के भेड़-बकरी पालकों की सोसाइटी बनाकर, इनका पंजीकरण सहकारिता समिति में कराने का निर्देश दिया गया। पशुपालकों को संगठित होने के कारण उनकी आय वृद्धि होगी। इस क्षेत्र में महिलाओं को प्राथमिकता दी जायेगी।
बैठक में साहीवाल के नस्ल सुधार हेतु हरिद्वार के कटारपुर क्षेत्र में, परीक्षण के उपरान्त इसके स्थापना के लिए प्रस्ताव प्रस्तुत करने का निर्देश दिया। इसके अतिरिक्त कुमाऊ एवं गढवाल में दो स्लाटर हाउस खोलने के प्रस्ताव पर विचार करने को कहा। बैठक में नेचुरल हिमालयन मीट की विशिष्टताओं को प्राचारित करने पर बल दिया गया। इसके प्रदेश और देश में लोकप्रियता बढ़ाने के को कहा गया। नेचुरल हिमालयन मीट की लोकप्रियता से पशुपालकों की आय बढ़ाने में मद्द मिलेगी।
बैठक में मानसून के बाद दो दिवसीय एवं पशु मेला प्रदर्शिनी मेला आयोजित करने पर बल दिया। बड़े स्तर पर होने वाले इस पशु मेला प्रदर्शिनी में रैम्प प्रोग्राम, सेमिनार, कृषक उत्पाद को प्रदर्शित किया जायेगा। बैठक मैं अच्छे पशुपालकों को बेहतर पशु नस्ल सुधार के लिए प्रोत्साहित करने एवं पुरस्कृत करने पर बल दिया गया।