देहरादून: प्रदेश के परिवहन, समाज कल्याण, अल्पसंख्यक कल्याण, छात्र कल्याण, ग्रामीण तालाब विकास, सीमान्त क्षेत्र विकास, परिक्षेत्र विकास एवं प्रबन्धन, पिछड़ा क्षेत्र विकास मंत्री यशपाल आर्य ने विधान सभा स्थित अपने कार्यालय कक्ष में उत्तराखण्ड बहुउद्देशीय वित्त एवं विकास निगम लि0 की बैठक लेते हुए कहा कि ऋण की सीमा बढ़ाई जाय तथा ऐसे रोजगार परक कार्यक्रम चलाये जाएं जिससे लाभार्थी आत्म निर्भर हो सकें तथा वित्त पोषित लाभार्थियों के सफलता की कहानी को भी सामने लाया जाए।
श्री आर्य ने कहा उत्तराखण्ड की परम्परा, संस्कृति एक धरोहर है, जो हमें विरासत के रूप में मिली है। इसे जीवंत रूप दिया जाए। उन्होंने कहा परम्परागत कला को रोजगार से जोड़ा जाए। यह प्रयास पलायन रोकने में भी मदद करेगी। इस सम्बन्ध में उन्होंने उत्तराखण्ड के परम्परागत व्यवसाय, कला, संस्कृति को संरक्षण देने हेतु आवासीय प्रशिक्षण केन्द्र खोलने को कहा। देहरादून एवं हल्द्वानी में दो प्रशिक्षण केन्द्रों की स्थापना की जायेगी। इस सम्बन्ध में स्थल चयन के भी निर्देश दिये गये हैं। सम्बन्धित जिलाधिकारी एवं समाज कल्याण अधिकारी को उक्त सन्दर्भ में निर्देश भेजने को कहा। उत्तराखण्ड के कला संस्कृति को जीवित रखने के प्रयास के लिए विशेष बल देने का निर्देश दिया गया। श्री आर्य ने कहा कि आवासीय प्रशिक्षण केन्द्र का नाम पं0 दीनदयाल उपाध्याय के नाम पर होगा। इसका उद्घाटन मुख्यमंत्री द्वारा किया जायेगा। विभागीय समीक्षा करते हुए मंत्री ने कहा कि योजनाओं का प्रचार-प्रसार कैम्प लगाकर किया जाय तथा विभाग में खाली पदों के भर्ती हेतु अधीनस्थ चयन आयोग में अधियाचन भेजा जाय। विभाग में 102 पद स्वीकृत हैं। इनमें से 23 पद रिक्त हैं। विभाग में ऋण वसूली पर विशेष बल दिया गया।
बैठक में शहरी क्षेत्र के दुकान निर्माण योजना, स्वच्छकार पुनर्वास योजना, विकलांग जीविका अवसर प्रोत्साहन योजना, शिल्पी ग्राम योजना की भी समीक्षा की गई। इस अवसर पर प्रबन्ध निदेशक उत्तराखण्ड बहुउद्देशीय वित्त विकास निगम वी षणमुगम, महाप्रबन्धक श्री गीताराम नौटियाल मौजूद थे।