विभिन्न स्कूलों/संगठनों के बच्चों ने राष्ट्रपति भवन सांस्कृतिक केन्द्र (आरबीसीसी) में राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु से मुलाकात की। इस अवसर पर बोलते हुए, राष्ट्रपति ने कहा कि हम अक्सर कहते हैं कि बच्चे देश का भविष्य हैं। इस भविष्य को सुरक्षित रखना और इसका उचित पालन-पोषण सुनिश्चित करना हम सभी का कर्तव्य है। उन्होंने कहा कि आज के बच्चों के पास तकनीक और ढेर सारी जानकारी व ज्ञान है। वे देश और विदेश में अपनी प्रतिभा दिखा रहे हैं। उन्होंने कहा कि यह हम सभी की जिम्मेदारी है कि हम अपने बच्चों की प्रतिभा को सही दिशा दें।
राष्ट्रपति ने कहा कि बच्चों में दूसरों के प्रति अधिक संवेदनशीलता होती है। वे दूसरों का दुःख देखकर दुःखी हो जाते हैं और दूसरों को खुश देखकर प्रसन्न हो जाते हैं। बच्चों के इसी गुण के कारण हम उन्हें बचपन से ही दूसरों की मदद करने और पर्यावरण के प्रति प्रेम एवं सम्मान की भावना रखने के लिए प्रेरित कर सकते हैं। बच्चों को स्वास्थ्य और पर्यावरण की स्वच्छता के प्रति जागरूक करना भी बेहद जरूरी है।
राष्ट्रपति ने बच्चों से कहा कि अगर वे अपनी क्षमता को पहचानें और पूरी लगन तथा कड़ी मेहनत के साथ अपने लक्ष्य की ओर बढ़ते रहें, तो वे निश्चित रूप से अपने लक्ष्य को प्राप्त कर सकेंगे। उन्होंने उन्हें पढ़ने की आदत अपनाने की सलाह दी। उन्होंने कहा कि एक कहावत है- किताबें सबसे अच्छी दोस्त होती हैं। उन्होंने कहा कि अच्छी किताबें किसी के व्यक्तित्व में सकारात्मक बदलाव लाती हैं। उन्होंने बच्चों को महान हस्तियों की जीवनियां पढ़ने की भी सलाह दी, जिससे उन्हें प्रेरणा मिलेगी और चुनौतियों का सामना करने में भी मदद मिलेगी।