देहरादून: मुख्य विकास अधिकारी कार्यालय में जिलाधिकारी एस.ए मुरूगेसन की अध्यक्षता में मनरेगा तथा जलागम के विकास कार्यों की समीक्षा बैठक आयोजित की गयी।
बैठक में महात्मा गांधी राष्ट्रीय रोजगार गारंटी अधिनियम योजना के अन्तर्गत वित्तीय वर्ष 2016-17 की वित्तीय देनदारी, वित्तीय वर्ष 2017-18 की वित्तीय एवं भौतिक प्रगति, आधार सिडिंग की प्रक्रिया, आधार आधारित भुगतान प्रगति, समय पर भुगतान माॅनिटिरिंग प्रक्रिया, फोकस एरिया कार्यों की प्रगति, आधार कार्ड सत्यापन प्रगति, आधार कैम्प रोस्टर आॅनलाईन प्रगति, लम्बित मस्ट्रोल की माहवार प्रगति, लम्बित प्रतिकर भुगतान की स्थिति तथा जलागम के अन्तर्गत आई.डब्लू.एम.पी (एकीकृत जल प्रबन्धन कार्यक्रम) और ग्राम्या 2 योजनाओं की विस्तार पूर्वक समीक्षा की गयी।
जिलाधिकारी ने मुख्य विकास अधिकारी तथा जिला विकास अधिकारी को अपने अधीनस्थ ब्लाक स्तर के कार्मिकों तथा ग्राम प्रधानों को जी.ओ टैगिंग/मैपिंग के प्रशिक्षण देने की प्रक्रिया प्रारम्भ करने, मनरेगा के कार्यों के लिए अधिक से अधिक व्यक्तियों को आवेदन करने को प्रेरित करने, लोगों को मनरेगा के माध्यम से कराये जा सकने वाले कार्यों का व्यापक प्रचार-प्रसार करने तथा मनरेगा के कार्यों में पारदर्शिता लाने हेतु समय-समय पर नई तकनीक की सहायता से माॅनिटिरिंग करने के निर्देश दिये। उन्होने मनरेगा तथा अन्य सभी विकास कार्यों के तहत किये जाने वाले श्रमिक भुगतान को आधार बेस्ड करने तथा कुछ शेष रह गये ऐसे श्रमिक खातों को जो अब-तक पोस्ट आफिस में संचालित हो रहे हैं उनको तत्काल बैंक में शिफ्ट करना सुनिश्चित करने के निर्देश दिये, जिससे भुगतान की प्रक्रिया आॅनलाईन हो सके तथा उसमें पूर्ण पारदर्शिता भी बनी रहे। उन्होने योजनाओं के तहत यदि कोई भी पिछला भुगातन शेष है तो उसे तुरन्त पूर्ण करने तथा दिये गये लक्ष्य की प्रगति समय पर प्राप्त करना सुनिश्चित करने के निर्देश दिये।
जिलाधिकारी ने प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के तहत जलागम विकास परियोजना आई.डब्लू.एम.पी तथा ग्राम्या की समीक्षा करते हुए उनकी कार्यदायी तथा सहयोगी संस्थाओं को कार्य की प्रगति तथा गुणवत्ता सुनिश्चित करने के निर्देश दिये।
जलागम ग्राम्या परियोजना के उप निदेशक परियोजना पी.एन शुक्ला ने अवगत कराया कि जलागम के अन्तर्गत आई.डब्लू.एम.पी भारत सरकार वित्त पोषित है तथा कृषि विभाग द्वारा क्रियान्वित की जाने वाली है व ‘ग्राम्या’ परियोजना विश्व बैंक द्वारा वित्त पोषित है तथा ग्राम पंचायत इसकी कार्यदायी संस्था है। उन्होने कहा कि चकराता ब्लाक के अन्तर्गत वर्तमान समय में आई.डब्लू.एम.पी के तहत 19 ग्राम पंचायतों तथा ग्राम्या के तहत 54 ग्राम पंचायतों में कार्य चल रहा है।
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी जी.एस रावत, जिला विकास अधिकारी प्रदीप पाण्डेय, जिला अर्थ एवं संख्या अधिकारी बी.एस परमार, अपर संख्या अधिकारी पूरण सिंह तोमर सम्बन्धित अधिकारी/कार्मिक उपस्थित थे।