नई दिल्ली: भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण (आईडब्ल्यूएआई) के जहाज एमवी वी.वी. गिरि ने अप्रैल 23, 2017 को पश्चिम बंगाल के पूर्वी मेदिनीपुर जिले से प्रयोग के तौर पर अपनी ऐतिहासिक यात्रा शुरू की थी, जिसने 240 टन सीमेंट की खेप बिहार में भागलपुर पहुंचाई थी। इस पोत की यात्रा रूपनारायण नदी (राष्ट्रीय जलमार्ग-86) पर कोलाघाट से शुरू हुई और गंगा नदी (एनडब्ल्यू-1) से होते हुए यह भागलपुर पहुंचा। इसके साथ ही दो अलग अलग राष्ट्रीय जलमार्गों – एनडब्ल्यू 86 और एनडब्ल्यू-1 को शामिल करते हुए देश में एकीकृत माल ढुलाई के युग की शुरुआत हुई है। रूपनारायण नदी (एनडब्ल्यू 86) हल्दिया के निगट जिओखाली में गंगानदी के साथ जुड़ती है। अपनी वापसी यात्रा में यह जहाज फ्लाई-ऐश/पेट कॉक लेकर जाएगा।
एक प्राइवेट कम्पनी ने पश्चिम बंगाल में पूर्वी मेदिनीपुर जिले में सल्बोनी स्थित अपने संसंत्र से हर वर्ष 1.20 लाख टन सीमेंट की खेप के बारे में समझौता किया है, जो झारखंड और बिहार में गंगा नदी के किनारे स्थित विभिन्न स्थानों पर पहुंचाई जाएगी।
इससे पहले, इस वर्ष के शुरू में आईडब्ल्यूएआई और एमवी. जाकिर हुसैन ने 350 टन सीमेंट हल्दिया से पटना पहुंचाया था। भारत सरकार का प्रयास है कि एनडब्ल्यू -1 (गंगा नदी) पर माल ढुलाई को नियमित कार्यक्रम का रूप दिया जाए। इस जलमार्ग का विकास आईडब्ल्यूएआई द्वारा जलमार्ग विकास परियोजना के अंतर्गत किया जा रहा है, जिसे विश्व बैंक से तकनीकी और वित्तीय सहायता मिल रही है।