लखनऊ: समाजवादी पार्टी की नेता एवं सांसद श्रीमती डिम्पल यादव ने आज यहां कहा कि समाजवादी सरकार ने शानदार विकास कार्य किए और उसी आधार पर विधानसभा का चुनाव लड़ा गया, परन्तु भाजपा ने जनता को बहकाने-बरगलाने का काम किया। हमारा विकास का मुद्दा उनके छल प्रपंच से दब गया। फिर भी निराश होने की कोई बात नहीं है। लोकतंत्र में हार-जीत होती रहती है।
श्रीमती डिम्पल यादव ने कहा कि समाजवादी सत्ता और विपक्ष दोनों में अपनी भूमिका निभाते रहे है। पार्टी के संघर्षशील नेता फिर सत्ता की वापसी में सफल होंगे। महिलाओं का भी पार्टी को मजबूती देने में योगदान रहा है। किसानों, नौजवानों, महिलाओं आदि के सहयोग एवं संघर्ष से ही समाजवादी पार्टी की सरकार बनी थी। अब जो हमारे संघर्ष में साथ रहेंगे अगली बार सरकार बनने पर उनको ही सम्मान दिया जाएगा।
श्रीमती डिम्पल यादव ने कहा कि समाजवादी पार्टी ने नर-नारी समता के सिद्धांत को माना है। समाजवादी सरकार में ही सबसे ज्यादा छात्राओं और महिलाओं को सम्मानजनक अवसर मिला था। समाजवादी पेंशन और कन्या विद्याधन के साथ ही लैपटाॅप योजना से सबसे ज्यादा लाभ का अवसर भी लड़किया को ही मिला था। समाजवादी पार्टी महिलाओं के उत्पीड़न और अन्याय के विरूद्ध आंदोलन करती रही है। जब भी समाजवादी सरकार बनती है महिलाओं को विशेष अवसर देकर आगे बढ़ाने का काम हुआ है।
मुख्य अतिथि श्रीमती डिम्पल यादव पार्टी मुख्यालय, लखनऊ के डा0 लोहिया सभागार में समाजवादी महिला सभा की बैठक को संबोधित कर रही थी। इसकी अध्यक्षता श्रीमती गीता सिंह ने की। बैठक में महिला सभा की प्रदेश कार्यकारिणी, जिला/महानगर अध्यक्ष, विधानसभा अध्यक्ष, महासचिव आदि ने भागीदारी की। इस बैठक में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित कर श्री अखिलेश यादव के कुशल नेतृत्व एवं उनके मुख्यमंत्रित्वकाल में महिलाओं के लिए किए गए कार्यों की सराहना की गई। प्रस्ताव में समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के प्रति पूर्ण निष्ठा व्यक्त की गई।समाजवादी महिला सभा की बैठक में पार्टी के सदस्यता अभियान को सफल बनाने का निर्णय लिया गया। उत्तर प्रदेश में सदस्यता अभियान 15 अप्रैल 2017 से 15 जून 2017 तक चलेगा। बैैठक को नेता प्रतिपक्ष श्री राम गोविंद चौधरी, प्रदेश अध्यक्ष श्री नरेश उत्तम पटेल, श्री अरविन्द सिंह एमएलसी, श्रीमती जूही सिंह सहित महिला सभा की उपाध्यक्ष श्रीमती शीला सिंह, महासचिव श्रीमती विद्या यादव, राजदेवी चैधरी, रचना कोरी एवं आरती पाल आदि ने संबोधित किया।