लखनऊः प्रदेश के सहकारिता मंत्री/अध्यक्ष उ0प्र0 राज्य भण्डारण निगम श्री मुकुट बिहारी वर्मा की अध्यक्षता में उ0प्र0 राज्य भण्डारण निगम के अंशधारियों की 55 वीं वार्षिक सामान्य बैठक निगम के न्यू हैदराबाद स्थित प्रधान कार्यालय के सभागार में सम्पन्न हुई। बैठक मे राज्य सरकार के प्रतिनिधि, श्री बी0 एल0 मीणा, प्रमुख सचिव सहकारिता विभाग, केन्द्रीय भण्डारण निगम के प्रतिनिधि श्री राम कुमार, क्षेत्रीय प्रबन्धक, के साथ निगम के प्रबन्ध निदेशक श्री श्रीकान्त गोस्वामी उपस्थित रहें। प्रबन्ध निदेशक द्वारा अध्यक्ष एवं दोनों अंशधारियों के प्रतिनिधियों का स्वागत करते हुए अवगत कराया गया कि इस निगम ने वर्ष 2017-18 में सफलता के नये कीर्तिमान स्थापित किये हैं। वर्ष 2017-18 में निगम की औसत भण्डारण क्षमता 38.57 लाख मी0 टन हो गयी तथा निगम को रू0 92.66 करोड़ का शुद्ध लाभ हुआ।
अंशधारियों की 55 वीं वार्षिक सामान्य बैठक में 31 मार्च, 2018 को समाप्त हुये वित्तीय वर्ष के लेखों को अंगीकृत किया गया तथा दोनों अंशधारियों यथा- राज्य सरकार को वर्ष 2017-18 हेतु देय लाभांश रु0-1,29,54,480/- व केन्द्रीय भण्डारण निगम को आयकर घटाने के उपरान्त रु0 1,1659032/- का चेक प्रदान किया गया। अन्त में बैठक सभी को धन्यवाद के साथ सम्पन्न की गयी।
अंशधारियों की बैठक के पश्चात् निगम के संचालक मण्डल की बैठक प्रारम्भ हुई। प्रबन्ध निदेशक द्वारा संचालक मण्डल के समक्ष कुल 18 प्रस्ताव विचारार्थ प्रस्तुत किये गये। संचालक मण्डल द्वारा प्रस्तुत प्रस्तावों पर विचार करते हुए कर्मचारियों के व्यापक हितों को दृष्टिगत रखते हुए निगम के कार्मिकों को वर्ष 2020-21 के लिये 20 प्रतिशत की दर से रू0 16800/- बोनस के भुगतान का अनुमोदन किया गया तथा निगम के सम्मानित अंशधारियों, संचालक मण्डल के निदेशकों, निगम अधिकारियों/कर्मचारियों, निगम के व्यवसाय से सम्बन्धित विभागों एवं वाणिज्यक संस्थाओं के उच्चाधिकारियों को प्रोत्साहन स्वरूप स्मृति चिन्ह दिये जाने का निर्णय लिया गया। निगम चिकित्सा परामर्शियों के मानदेय में वृद्धि, निगम में कार्यरत आउटसोर्सिग कर्मचारियों को आकस्मिक अवकाश की सुविधा का लाभ, निगम कार्मिकों को वर्ष 2017-18 हेतु उत्पादकता से जुड़ी अधिलाभ(पी0एल0आई0) रू0-12600/- का भुगतान एवं निगम में कार्यरत नियमित चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी व वाहन चालकों को धुलाई भत्ते की धनराशि शासनादेश के अनुरूप दिये जान,े निगम के पूर्णकालिक अधिकारियों/कर्मचारियों हेतु लागू सामान्य ऋण योजना के लिये पूर्व निर्धारित 12 करोड़ फण्ड को बढ़ाकर रू0-20 करोड़ किये जाने का सर्वसम्मति से निर्णय लिया गया।