नई दिल्ली: निम्नलिखित प्रतिभूति का पुनर्भुगतान निम्नलिखित विवरण के अनुसार किया जाना है :
तालिका : 12 जून 2019 को परिपक्व होने वाली भारत सरकार की प्रतिभूति का विवरण | ||||
क्र.सं. | प्रतिभूति का नाम | पुनर्भुगतान की निर्दिष्ट तिथि | पुनर्भुगतान की प्रभावकारीतिथि | पुनर्भुगतान की निर्दिष्ट तिथि से कोई ब्याज नहीं जुड़ेगा |
(1) | (2) | (3) | (4) | (5) |
1. | 6.05 प्रतिशत ब्याज वाली सरकारी प्रतिभूति
2019’ का पुनर्भुगतान |
12 जून 2019 (बुधवार) | 12 जून 2019 (बुधवार) | 12 जून 2019 (बुधवार) |
6.05 प्रतिशत ब्याज वाली सरकारी प्रतिभूति 2019 की बकाया शेष राशि सममूल्य पर उपर्युक्त तालिका के कॉलम 4 में उल्लेखित पुनर्भुगतान की प्रभावकारी तिथि को देय होगी। परक्राम्य लिखत अधिनियम, 1881 के तहत किसी भी राज्य सरकार द्वारा पुनर्भुगतान की प्रभावकारी तिथि को अवकाश घोषित किए जाने की स्थिति में संबंधित ऋण/ऋणों का पुनर्भुगतान उस राज्य के भुगतान कार्यालयों द्वारा इससे पिछले कार्य दिवस को किया जाएगा।
सरकारी प्रतिभूति नियमन, 2007 के उप-नियमों 24 (2) और 24 (3) के तहत परिपक्व होने वाली धनराशि का भुगतान सरकारी प्रतिभूति के पंजीकृत धारक को या तो एक पे ऑर्डर, जिसमें उसके बैंक खाते का प्रासंगिक ब्यौरा होगा, के जरिये किया जाएगा अथवा इस रकम को उस बैंक में धारक के खाते में डाल दिया जाएगा जिसमें इलेक्ट्रॉनिक ढंग से धनराशि की प्राप्ति की सुविधा होगी। सरकारी प्रतिभूति को सहायक सामान्य खाता बही या संघटक सहायक सामान्य खाता बही खाते या शेयर प्रमाणपत्र के रूप में रहना चाहिए। प्रतिभूतियों के संदर्भ में भुगतान सुनिश्चित करने के लिए इस तरह की सरकारी प्रतिभूतियों के मूल ग्राहक अथवा उसके बाद वाले धारकों को अपने बैंक खाते का संबंधित ब्यौरा अग्रिम रूप से उपलब्ध कराना होगा।
हालांकि, बैंक खाते का संबंधित ब्यौरा/इलेक्ट्रॉनिक ढंग से धनराशि की प्राप्ति का अधिदेश न होने की स्थिति में नियत तिथि पर ऋण का पुनर्भुगतान सुनिश्चित करने के लिए धारक अपनी उन प्रतिभूतियों को सार्वजनिक ऋण कार्यालयों, कोषागारों/उप कोषागारों, भारतीय स्टेट बैंक एवं उसके सहयोगी बैंकों (जहां वे ब्याज के भुगतान के लिए मुखांकित/पंजीकृत हैं) की शाखाओं में पेश कर सकते हैं जिनका निस्सरण या शोधन विधिवत रूप से हो चुका है। इन प्रतिभूतियों को पुनर्भुगतान की नियत तिथि से 20 दिन पहले पेश करना होगा।