नई दिल्ली: भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के 87वें स्थापना दिवस, पुरस्कार वितरण समारोह एवं कृषि विज्ञान केन्द्रों के राष्ट्रीय सम्मेलन का आयोजन 25 जुलाई, 2015 को पटना में किया जाएगा। प्रधानमंत्री इस समारोह के मुख्य अतिथि होंगे एवं देशभर के कृषि वैज्ञानिकों को संबोधित करेंगे। इस अवसर पर लैब-टू-लैंड कार्यक्रम में और तेजी लाने के लिए आईसीएआर की चार नयी परियोजनाओं (1. फामर्स फर्स्ट 2. आर्या 3. मेरा गांव मेरा गौरव और 4. स्टूडेंट रेडी) का शुभारंभ प्रधानमंत्री जी करेंगे। आईसीएआर ने भविष्य की चुनौतियों को ध्यान रखते हुए आईसीएआर विजन 2050 की रूपरेखा तैयार की है जिसका विमोचन भी प्रधानमंत्री जी करेंगे।
मूलत: इम्पीरियल काउंसिल ऑफ एग्रीकल्चरल रिसर्च की स्थापना वर्ष 1929 में की गई थी। स्वतंत्रता प्राप्ति के पश्चात इसे भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद (ICAR) नाम दिया गया।वर्तमान में भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के अंतर्गत देशभर में कुल 100 संस्थान कार्यरत हैं जिनमें 4 मानद विश्वविद्यालय हैं। परिषद का संचालन नई दिल्ली स्थित मुख्यालय से विषय-वस्तु प्रभागों के माध्यम से किया जाता है। ये प्रभाग हैं; फसल विज्ञान, पशु विज्ञान, कृषि शिक्षा, कृषि प्रसार, बागवानी विज्ञान, मात्स्यिकी विज्ञान, प्राकृतिक संसाधन प्रबंधन एवं कृषि अभियांत्रिकी। विश्व के सार्वजनिक क्षेत्रों में भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद सबसे बड़ी राष्ट्रीय कृषि अनुसंधान व शिक्षा प्रणाली है। परिषद की राष्ट्रीय कृषि अनुसंधान प्रणाली में कुल 73 कृषि विश्वविद्यालय हैं जिनमें 2 केन्द्रीय विश्वविद्यालय, 67 राज्य कृषि विश्वविद्यालय तथा 642 कृषि विज्ञान केन्द्र शामिल हैं।
पहली बार भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के स्थापना दिवस का आयोजन नई दिल्ली से बाहर किया जा रहा है। बिहार राज्य का महत्व इसलिए भी कही अधिक है क्योंकि देश के पहले कृषि अनुसंधान व शिक्षा संस्थान आईएआरआई की स्थापना लगभग 110 वर्ष पूर्व बिहार की पावन धरती पर पूसा, समस्तीपुर में की गई थी।
संस्थानों, वैज्ञानिकों, शिक्षकों, किसान भाईयों तथा कृषि पत्रकारों को मान्यता प्रदान करने और उन्हें पुरस्कृत करने के लिए आईसीएआर में एक बहु-स्थापित प्रणाली विद्यमान है। आईसीएआर के स्थापना दिवस पर प्रतिवर्ष पुरस्कार वितरण समारोह का आयोजन किया जाता है। इस समारोह में कृषि अनुसंधान, शिक्षा, नवोन्मेष एवं पत्रकारिता के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए अठारह (18) विभिन्न श्रेणियों में कुल 82 पुरस्कार हैं। इनमें 3 संस्थानों, सर्वश्रेष्ठ एआईसीआरपी केन्द्र सहित एक एआईसीआरपी, 9 कृषि विज्ञान केन्द्रों, 55 वैज्ञानिकों, 7 किसानों तथा 6 पत्रकारों के लिए पुरस्कार हैं। पुरस्कार पाने वाले 55 वैज्ञानिकों में से 15 महिला वैज्ञानिक हैं।