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राष्ट्रपति ने आइसलैंड की अपनी राजकीय यात्रा के अंतिम दिन भारत-आइसलैंड बिजनेस फोरम को संबोधित किया

देश-विदेश

नई दिल्ली: राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविंद ने आइसलैंड के रेकजाविक में भारत-आइसलैंड बिजनेस फोरम को संबोधित किया।

इस अवसर पर राष्ट्रपति ने कहा कि भारत में तेज गति से हो रहा विकास और निरंतरता के प्रति प्रतिबद्धता तथा आइसलैंड की कारोबारी ताकत दोनों आपस में एक स्वाभाविक साझेदारी को रेखांकित करते हैं। उन्होंने कहा कि भू-तापीय ऊर्जा, सर्कुलर इकोनॉमी, वित्तीय सेवाओं, मत्स्य पालन, खाद्य प्रसंस्करण, शिपिंग, पर्यटन और नवाचार के क्षेत्र में आइसलैंड की क्षमता अद्वितीय हैं। चाहे कार्बन को अवशोषित करना हो या कम ऊर्जा खपत वाले भवनों का निर्माण करना हो अथवा कचरे से संपदा सृजित करने वाली परियोजनाएं हों, इस तरह की सभी हरित प्रौद्योगिकियों में आइसलैंड अग्रणी है। उन्होंने कहा कि आइसलैंड की आर्थिक कामयाबी एक गाथा है जिसका अनुसरण कई देश करना पसंद करेंगे। राष्ट्रपति ने कहा कि भारत के रूपांतरणकारी विकास कार्यक्रम और अगली पीढ़ी की बुनियादी ढांचागत परियोजनाएं आइसलैंड की कंपनियों के लिए व्यापक अवसर प्रस्तुत करती हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि भारत में तेज विकास और आइसलैंड की उत्कृष्ट क्षमताएं एक-दूसरे की पूरक हैं। उन्होंने कहा कि व्यापार, निवेश एवं सेवाओं से लेकर अनुसंधान एवं नवाचार तक से जुड़े कई क्षेत्रों में आर्थिक साझेदारी बढ़ाने की व्यापक संभावनाएं हैं। वैसे तो दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय व्यापार के आंकड़े फिलहाल सामान्य नजर आते हैं, लेकिन भारतीय बाजार और आइसलैंड की कारोबारी ताकतें इन आंकड़ों को काफी आकर्षक बनाने में समर्थ हैं। राष्ट्रपति ने कहा कि आइसलैंड विनिर्मित वस्तुओं, फल-सब्जियों, वस्त्र, रसायनों और इंजीनियरिंग वस्तुओं को भारत से प्राप्त करने की संभावनाओं पर गौर कर सकता है। इसी तरह फार्मा, स्वास्थ्य सेवा एवं जैव प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में भारत और आइसलैंड के बीच कारोबार बढ़ाने की व्यापक संभावनाएं हैं। यही नहीं, वित्त, आतिथ्य और पर्यटन सेवाओं में भी पारस्परिक कारोबार के व्यापक अवसर हैं।

राष्ट्रपति ने कहा कि आइसलैंड की तकनीकी प्रगति और भारत का वैज्ञानिक कौशल आपस में मिलकर चौथी औद्योगिक क्रांति और मशीन-इंटेलीजेंस के दौर को नई गति प्रदान कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि रोबोटिक्स, पारिस्थितिकी और समुद्री कचरे के क्षेत्र में काम कर रहे भारतीय स्टार्ट-अप या तो आइसलैंड अथवा भारत या दुनिया के किसी भी हिस्से में हमारी भावी साझेदारी के संभावित मजबूत आधार बन सकते हैं।

राष्ट्रपति इसके बाद अपनी मेजबानी में आयोजित किये जाने वाले दोपहर के भोज के दौरान आइसलैंड की प्रधानमंत्री कैटरीन जकोब्स्दोतीर से मिलेंगे।

राष्ट्रपति अपनी राजकीय यात्रा के दूसरे चरण में आज दोपहर स्विट्जरलैंड के लिए प्रस्थान कर जायेंगे।

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