लखनऊः व्यावसायिक शिक्षा एवं कौशल विकास विभाग के विशेष सचिव व अधिशासी निदेशक श्री हरिकेश चौरसिया ने बताया कि प्रदेश के राजकीय/निजी औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों में प्रशिक्षण सत्र 2021 में प्रवेश हेतु वेबसाइट http://www.scvtup.in पर ऑनलाइन आवेदन आज से प्रारम्भ हो गया है। अभ्यर्थी ऑनलाइन पंजीयन से सम्बन्धित जानकारी के लिए 0522-4047658, 9628372929, 0522-4150500, 7897992063 पर सम्पर्क कर सकते है। उन्होंने बताया कि 9628372929 व्हास्ट्ऐप नंबर पर आवेदन के संबंध मे जानकारी हेतु 49 व्हास्ट्ऐप मैसेज व 26 कॉल आयी है, जिनका संतोषजनक जवाब दिया गया है।
विशेष सचिव व अधिशासी निदेशक ने बताया कि प्रदेश में 305 राजकीय आई0टी0आई0 संचालित है जिनमें 70 व्यवसायों में प्रवेश हेतु 119831 सीटें उपलब्ध हैं। इसी तरह 2749 निजी आई0टी0आई0 संचालित है, जिनमें 51 व्यवसायों में प्रवेश हेतु 374460 सीटें उपलब्ध है। उन्होंने बताया कि महिलाओं के प्रशिक्षण हेतु 12 विशिष्ट राजकीय संस्थान के अतिरिक्त 47 महिला शाखाएँ स्थापित हैं। प्रदेश में अल्पसंख्यक बहुल क्षेत्रों में 43 राजकीय आई0टी0आई0 स्थापित हैं।
विशेष सचिव व अधिशासी निदेशक ने बताया कि शासनादेश के अनुसार प्रत्येक व्यवसाय की समस्त प्रवेश सीटों का अधिकतम अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए 27 प्रतिशत, अनुसूचित जाति के लिए 21 प्रतिशत व अनुसूचित जनजाति वर्ग के लिए 2 प्रतिशत आरक्षण तथा आर्थिक रूप से कमजोर वर्गो (ई0डब्लू0एस0) के लिए 10 प्रतिशत आरक्षण की व्यवस्था है। सैनिक आश्रित 5 प्रतिशत दिव्यांगजन 4 प्रतिशत व स्वतंत्रता सेनानी आश्रित हेतु 2 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण की व्यवस्था है। महिलाओं के लिए 20 प्रतिशत क्षैतिज आरक्षण की व्यवस्था है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में अनुसूचित जाति सबप्लान (एस.सी.एस.पी.) के अन्तर्गत 84 विशिष्ट राजकीय आई0टी0आई0 स्थापित हैं। इन संस्थानों में वर्तमान लागू व्यवस्था के अनुसार 70 प्रतिशत सीटें अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति तथा 15 प्रतिशत सीटें अन्य पिछड़ी जाति हेतु आरक्षित हैं। अर्हकारी शैक्षिक योग्यता की मेरिट आधारित आवेदन करने के लिए ऑनलाइन फॉर्म की व्यवस्था है। अनुसूचित जाति व अनुसूचित जनजाति वर्ग के लिए पंजीकरण शुल्क रुपये 150.00 तया सामान्य एवं अन्य पिछड़ा वर्ग हेतु रूपये 250.00 निर्धारित है। http://www.scvtup.in पोर्टल डिजिलॉकर से इंटीग्रेटेड है जिसके माध्यम से एस0सी0वी0टी0 पाठ्यक्रम के प्रशिक्षार्थी अपना अंकपत्र व प्रमाणपत्र अपने डिजिलॉकर में सुरक्षित रख सकते हैं।