लखनऊ: प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी ने कहा है कि अधिकारों की रक्षा, सजगता और सक्रियता के साथ-साथ कर्तव्यों के निर्वहन के प्रति भी सजगता आवश्यक है। ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ के तहत सभी देशवासियों को अपने कर्तव्यों के मार्ग पर चलने का संकल्प लेना होगा। ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ ऐसे मनाया जाए, जिससे कि आजादी के शताब्दी वर्ष 2047 के अवसर पर हम सभी मानवता की रक्षा के प्रति समर्पित और कर्तव्य भाव से भरे हुए हों।
प्रधानमंत्री जी ने यह विचार आज ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ की राष्ट्रीय समिति की वर्चुअल बैठक को सम्बोधित करते हुए व्यक्त किए। उन्होंने कहा कि ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ के दौर में दुनिया संकट से जूझ रही है। उसकी छाया पड़ना स्वाभाविक है, किन्तु जिन स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों ने आजादी की लड़ाई में अपना बलिदान दिया, परिवार न्यौछावर हुए, उन सभी को स्मरण कर उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित करना हमारा महत्वपूर्ण कर्तव्य है। उन्होंने कहा कि कोई भी समाज व पीढ़ी अपने पूर्वजों के पराक्रम को भूल नहीं सकती। इसके साथ ही, हर नई पीढ़ी को अपने इतिहास की भी रचना करनी होती है। ऐसे में, इतिहास और विरासत के साथ-साथ आने वाले भविष्य का संकल्प लेना और उसके लिए कार्य करना आवश्यक है।
प्रधानमंत्री जी ने कहा कि देश की पीढ़ियों ने जीवन मूल्यों के प्रति समझौता न करते हुए अपने संघर्षों को जारी रखा। इन पीढ़ियों की संघर्ष गाथा हम सभी के लिए प्रेरणा का स्रोत है। ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ भावी इतिहास को बनाने के संकल्प का उत्तम अवसर है, जब हम यह निर्णय लें कि आजादी का शताब्दी वर्ष भारत किस रूप में मनाएगा और हम पूरी मानवता को क्या दे सकते हैं। युवा पीढ़ी के लिए यह समय ऐसे संकल्पों को लेने का है।
प्रधानमंत्री जी ने कहा कि कोरोना और उसके बाद विश्व ने बहुत कुछ सीखा है। ऐसे में, वैश्विक व्यवस्था में भारत की अहम भूमिका हो सकती है। 21वीं सदी एशिया की सदी है, लेकिन हमारे निर्णय और पुरुषार्थ इस सदी में भारत का स्थान तय करेंगे। इस संकल्प का आधार ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ बन सकता है। उन्होंने कहा कि अमृत महोत्सव के कार्यक्रमों में पूरे देश के जन-जन की भागीदारी आजादी के दीवानों व बलिदानियों के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी।
वर्चुअल बैठक को सम्बोधित करते हुए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ के तहत प्रधानमंत्री जी द्वारा दिए गए 05 सूत्रों के अनुसार उत्तर प्रदेश अपनी भूमिका का निर्वहन कर रहा है। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में देश की आजादी के लिए अपना सर्वस्व न्यौछावर करने वाले स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के त्याग व बलिदान का स्मरण करते हुए उनके प्रति श्रद्धांजलि स्वरूप विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। 12 मार्च, 2021 से प्रारम्भ हुए ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ के तहत केन्द्र व राज्य स्तर पर कई कार्यक्रम संचालित हैं। प्रदेश में अंतर्विभागीय समन्वय के आधार पर इन कार्यक्रमों का संचालन किया जा रहा है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि देश अपनी आजादी की 75वीं वर्षगांठ मना रहा है। इस अवसर को गौरवपूर्ण बनाने के लिए मा0 प्रधानमंत्री जी की प्रेरणा से पूरे देश में ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ मनाया जा रहा है। यह वर्ष चौरी-चौरा की ऐतिहासिक वीरतापूर्ण घटना का शताब्दी वर्ष भी है। इसे प्रदेश में‘ चौरी-चौरा शताब्दी महोत्सव’ के रूप में मनाया जा रहा है। उत्तर प्रदेश का इतिहास स्वतंत्रता आन्दोलनों की गाथाओं से ओत-प्रोत है। हमारे प्रदेश की धरती आदिकाल से वीरों की धरती रही है। प्रथम स्वतंत्रता संग्राम की क्रान्ति का उद्घोष इसी धरती पर हुआ था। उत्तर प्रदेश के विभिन्न जनपद प्रथम स्वातंत्र्य समर की प्रमुख घटनाओं के साक्षी रहे हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि अमृत महोत्सव के इस पावन अवसर पर भारतीय स्वतंत्रता आन्दोलन के सेनानियों के अमर बलिदानों को आम जनमानस के सामने लाकर हमें गौरव की अनुभूति हो रही है। इस शृंखला में प्रदेश सरकार द्वारा विभिन्न आयोजनों के माध्यम से इसे एक अभियान का रूप दिया गया है। स्वतंत्रता सेनानियों को याद किया जा रहा है, शहीदों को श्रद्धांजलि देते हुए उनके परिजनों को सम्मानित किया जा रहा है। लखनऊ में ओलम्पिक तथा मेरठ में पैराओलम्पिक खेलों के मेडल प्राप्त खिलाड़ियों के अलावा, प्रत्येक जनपद के 75-75 खिलाड़ियों को सम्मानित किए जाने का कार्य राज्य सरकार द्वारा किया गया।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि काकोरी ट्रेन एक्शन के नायकों पं0 राम प्रसाद बिस्मिल, अशफाक उल्ला खां तथा ठा0 रोशन सिंह के बलिदान दिवस पर 19 दिसम्बर, 2021 को शहीद स्मारक काकोरी में आयोजित कार्यक्रम में शहीद देशभक्तों को भावभीनी श्रद्धांजलि दी गई। 20 दिसम्बर, 2021 को रेजिडेंसी, लखनऊ में आजादी की शौर्यगाया पर आधारित भारत के अब तक के सबसे बड़े ड्रोन शो का आयोजन किया गया। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश प्रधानमंत्री जी के मार्गदर्शन में अमृत महोत्सव की राष्ट्रीय समिति द्वारा लिए गए निर्णयों के अनुसार भविष्य में भी कार्यक्रमों का संचालन किए जाने के लिए प्रतिबद्ध है।
केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह जी ने सभी का स्वागत करते हुए बैठक का संचालन किया। केन्द्रीय संस्कृति सचिव श्री गोविन्द मोहन ने ‘आजादी के अमृत महोत्सव’ के तहत अब तक संचालित किए गए कार्यक्रमों की विस्तृत जानकारी देते हुए भविष्य की रूपरेखा प्रस्तुत की।
वर्चुअल बैठक को पूर्व प्रधानमंत्री श्री एच0डी0 देवगौड़ा, गुजरात के राज्यपाल श्री आचार्य देवव्रत, केरल के राज्यपाल श्री आरिफ मोहम्मद खान, आन्ध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाई0एस0 जगन मोहन रेड्डी, राजस्थान के मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत, सुप्रसिद्ध पार्श्व गायिका सुश्री लता मंगेश्कर, पूर्व केन्द्रीय मंत्री श्री जे0पी0 नड्डा, पूर्व केन्द्रीय मंत्री श्री शरद पवार, स्वामी परमात्मानंद जी, फिल्म अभिनेता श्री रजनीकांत, उद्योगपति श्री ए0एम0 नाईक, फिल्म निर्माता श्री रामोजी राव ने भी सम्बोधित किया।