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राज्य स्तरीय आईईसी में दिल्ली के सभी 11 जिलों के लिए इस्तेमाल होने वाले ईवीएम/वीवीपैट रखे जाएंगे

देश-विदेश

भारत के मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) श्री सुशील चंद्रा ने चुनाव आयुक्त श्री अनूप चंद्र पांडे के साथ दिल्ली के बख्तावरपुर इलाके में एकीकृत चुनाव परिसर का उद्घाटन किया। यहां राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली के ईवीएम और वीवीपैट मशीनों का भंडारण और प्रबंधन किया जाएगा। एकीकृत चुनाव परिसर का निर्माण मुख्य निर्वाचन अधिकारी, दिल्ली ने कराया है। दिल्ली पर्यटन और परिवहन विकास निगम लिमिटेड (डीटीटीडीसी) प्रोजेक्ट की कार्यकारी एजेंसी है।

उद्घाटन समारोह में सीईओ दिल्ली और उनकी टीम को प्रोजेक्ट की योजना और क्रियान्वयन के लिए बधाई देते हुए सीईसी श्री चंद्रा ने कहा कि यह अत्याधुनिक एकीकृत चुनाव परिसर भारत निर्वाचन आयोग के लिए मील का पत्थर है। उन्होंने कहा कि इस परिसर ने दूसरे सभी राज्य सीईओ के अनुकरण के लिए ऊंचा मानक निर्धारित किया है। इस परिसर को ईवीएम के भंडारण, सुरक्षा और आवाजाही के लिए सभी सुविधाओं और प्रशासनिक सुरक्षा प्रोटोकॉल के हिसाब से तैयार किया गया है।

अपनी तरह का पहला एकीकृत परिसर एक बहु-कार्यात्मक अत्याधुनिक सुविधा वाला केंद्र है, जिसका उद्देश्य ईवीएम और वीवीपैट के प्रबंधन और भंडारण को आधुनिक बनाना है। आईईसी में ईवीएम और वीवीपैट के लिए पर्याप्त भंडारण क्षमता है, जो राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली के सभी 11 जिलों को कवर करते हुए राज्य स्तरीय भंडारण केंद्र के रूप में भी काम करता है। ईसीआई के दिशानिर्देशों के अनुसार ईवीएम और वीवीपैट की प्रथम स्तर की जांच करने के लिए परिसर में व्यापक सुविधाएं हैं। प्रथम स्तर पर चेकिंग हॉल का उपयोग बड़ी बैठकों और प्रशिक्षण सत्रों के लिए भी किया जा सकता है।

अपने संबोधन के दौरान, श्री चंद्रा ने जोर देकर कहा कि ईवीएम भारतीय चुनावों का गौरव है। उन्होंने कहा कि 2004 से सभी चुनावों में ईवीएम का इस्तेमाल किया गया है और अब तक 350 करोड़ से ज्यादा मतदाताओं ने अपना भरोसा व्यक्त करते हुए 4 आम चुनावों और 37 विधानसभा चुनावों में ईवीएम के जरिए अपने वोट डाले हैं। सीईसी श्री चंद्रा ने कहा कि ईवीएम बेहतरीन इंजीनियरिंग का नतीजा है। ईवीएम के साथ कोई छेड़छाड़ नहीं की जा सकती है। अपनी विश्वसनीयता स्थापित करते हुए इस मशीन ने समय पर और सटीक परिणाम दिए हैं। पहली बार चार दशक पहले पायलट आधार पर इसका इस्तेमाल शुरू किया गया था। उन्होंने कहा कि 2019 के आम चुनावों से वीवीपैट ऑडिट ट्रेल शुरू हुआ जिसने ईवीएम की विश्वसनीयता को और स्थापित किया है। इसमें ईवीएम में डाले गए वोटों और वीवीपैट पर्चियों की गिनती में कोई गड़बड़ी सामने नहीं आई है। उन्होंने दिल्ली के जिला चुनाव अधिकारियों से ईवीएम की सभी विशेषताओं और प्रोटोकॉल को जानने समझने का आग्रह किया जिससे जनता के बीच प्रभावी संचार और पहुंच सुनिश्चित की जा सके। डीईओ के साथ बातचीत करते हुए, सीईसी श्री चंद्रा ने इस बात पर जोर दिया कि उन्हें मतदान बढ़ाने के लिए ठोस प्रयास करते हुए लक्षित हस्तक्षेप करना चाहिए।

चुनाव आयुक्त श्री अनूप चंद्र पांडे ने अपने संबोधन में कहा कि चुनाव प्रबंधन में पारदर्शिता, निष्पक्षता और पर्सेप्शन महत्वपूर्ण है और इस तरह किसी भी गड़बड़ी से बचने और एकरूपता सुनिश्चित करने के लिए ईवीएम के व्यवस्थित भंडारण, रखरखाव और आवाजाही के लिए मानक संचालन प्रक्रियाओं और चेकलिस्ट का पालन करना महत्वपूर्ण है। इस तरह के एकीकृत परिसर की स्थापना के लिए मानक और मानदंड स्थापित करने के लिए परियोजना टीम को बधाई देते हुए, उन्होंने कहा कि चुनाव अधिकारियों के लिए ईवीएम/वीवीपैट के लॉजिस्टिक्स और इन्वेंट्री प्रबंधन के लिए इसका इस्तेमाल एक प्रशिक्षण केंद्र के रूप में किया जा सकता है।

इस विशिष्ट केंद्र को बनाने में विभिन्न एजेंसियों और संगठनों के समन्वित प्रयासों की प्रशंसा करते हुए महासचिव ईसीआई श्री उमेश सिन्हा ने कहा कि यह एकीकृत चुनाव परिसर ईवीएम और वीवीपैट के लिए घर के तौर पर काम करेगा और सभी मुख्य निर्वाचन अधिकारियों के लिए एक लैंडमार्क होगा।

दिल्ली के मुख्य निर्वाचन अधिकारी डॉ. रणबीर सिंह ने अपने स्वागत संबोधन में इस प्रोजेक्ट के शुरू होने से लेकर पूर्ण होने तक का विस्तृत कालक्रम समझाया। उद्घाटन समारोह के दौरान सीईसी सुशील चंद्रा ने मुख्य चुनाव अधिकारी दिल्ली द्वारा 2021-22 में आयोजित मतदाता जागरूकता अभियानों से संबंधित एक वृत्तचित्र फिल्म और एक कॉफी टेबल बुक भी जारी की।

वरिष्ठ उप चुनाव आयुक्तों श्री धर्मेंद्र शर्मा और श्री चंद्र भूषण कुमार, उप चुनाव आयुक्त श्री टी श्रीकांत, महानिदेशक (मीडिया) सुश्री शेफाली शरण, एमडी डीटीटीडीसी स्वाति शर्मा और एनसीटी दिल्ली के जिला चुनाव अधिकारी/डीएम भी इस अवसर पर उपस्थित थे।

एकीकृत चुनाव परिसर की मुख्य विशेषताएं

भारत निर्वाचन आयोग द्वारा परिकल्पित और मुख्य निर्वाचन अधिकारी दिल्ली के तत्वावधान में बना एकीकृत चुनाव परिसर ईवीएम और वीवीपैट के आधुनिक रूप से भंडारण और प्रबंधन की एक ऐतिहासिक परियोजना है। 12865 वर्ग मीटर के क्षेत्र में फैला यह परिसर लोकतंत्र में हमारे सामूहिक विश्वास का एक बड़ा प्रमाण है। प्रत्येक मंजिल पर विशेष रूप से डिजाइन किए गए 1080 रैक वाले ईवीएम वॉल्ट हैं। सुरक्षा और निगरानी के लिए यहां 2 कंट्रोल रूम और 80 सीसीटीवी हैं। एकीकृत चुनाव परिसर में एक लाख बैलेट यूनिट/कंट्रोल यूनिट से ज्यादा और लगभग 45000 वीवीपैट मशीन की भंडारण क्षमता है, जो राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली के सभी 11 जिलों की जरूरतों को पूरा करने के लिए पर्याप्त है। विशेष रूप से डिजाइन किए गए 36 स्टोरेज वॉल्ट हैं, जो ईवीएम और वीवीपैट के उचित भंडारण के लिए स्टील रैक से सुसज्जित हैं। एनसीटी दिल्ली के विभिन्न चुनावी जिलों को उनकी जरूरत के हिसाब से पर्याप्त वॉल्ट तय किए गए हैं।

आईईसी 3 यात्री लिफ्टों और 2 कार्गो लिफ्टों से लैस है। इसके अलावा लोगों और मशीनों की पहुंच और सुचारू ढंग से आवाजाही के लिए एक रैंप सुविधा भी दी गई है। तीन मंजिला परिसर में सुरक्षाकर्मियों के लिए पूरी तरह से सुसज्जित बैरक हैं। इसके साथ ही, दो स्तरीय उच्च सुरक्षा दीवार द्वारा सुरक्षा सुनिश्चित की जाती है।

परिसर एक हरित इमारत है, जिसमें प्राकृतिक रूप से प्रकाश और वेंटिलेशन जैसी पर्यावरणीय विशेषताएं होने से ऊर्जा की मांग न्यूनतम है। इमारत में पर्यावरण के अनुकूल दृष्टिकोण अपनाते हुए 200 किलोवाट की क्षमता वाले सौर पैनल लगाए गए हैं, जो पावर ग्रिड से जुड़े हुए हैं। अतिरिक्त सौर ऊर्जा ग्रिड को बेची जाएगी।

सभी तल ऑटोमेटिक अग्निशमन और अलार्म प्रणाली से लैस हैं। परिसर में अपशिष्ट जल को प्रॉसेस करने के लिए एक आधुनिक सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट के साथ एक समर्पित जल संचयन प्रणाली है। बागवानी आदि से परिसर को हरा-भरा बनाया गया है। भवन परिसर में चुनाव संबंधी भित्ति चित्र और कलाकृति के प्रदर्शन ने आईईसी परिसर के सौंदर्य और शिक्षाप्रद मूल्य को बढ़ा दिया है।

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