प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री श्री जयवीर सिंह ने मथुरा जिला प्रशासन एवं विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि भगवान श्रीकृष्ण का 5251वां जन्मोत्सव समारोह पूरी आस्था एवं अलौकिक ढं़ग से मनाया जाए। उन्होंने यह भी कहा कि भगवान श्रीकृष्ण की जन्माष्टमी के दिन देश दुनिया से बड़ी संख्या में श्रद्धालु एवं भक्त जन्मोत्सव को देखने के लिए आते हैं। इसलिए कार्यक्रम स्थल पर स्वास्थ्य, सुरक्षा, यातायात, पार्किंग, आवागमन मार्ग, विद्युत, साफ-सफाई, पेयजल, लाइटिंग एवं शौचालय आदि की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। उन्होंने यह भी कहा कि भीड़ को नियंत्रित करने के लिए पर्याप्त पुलिस फोर्स के साथ ही आवागमन एवं निकासी के लिए सुरक्षित व्यवस्था सुनिश्चित की जाए।
पर्यटन मंत्री सोमवार को उ0प्र0 ब्रजतीर्थ विकास परिषद मथुरा के सभागार में श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की तैयारी को लेकर एक उच्चस्तरीय बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने कहा कि जन्मोत्सव का आयोजन दिव्य, भव्य एवं अलौकिक होना चाहिए। उन्होंने कहा कि भगवान श्रीकृष्ण द्वारा श्रीमदभागवत में जो कालजयी संदेश दिये गये हैं, वह सम्पूर्ण मानवता के लिए कल्याणकारी तथा कर्तव्यपथ पर निरन्तर आगे बढ़ने का है। उनके संदेशों में मानव कल्याण के तथ्य निहित हैं। उन्होंने कहा कि जन्मोत्सव का व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि संतो का सुझाव है कि रक्षाबंधन से लेकर नन्दोत्सव तक 09 दिवसीय पर्व मनाया जाए। इसके साथ ही सभी घरों, मंदिरों एवं आश्रमों में आयोजन किया जाए।
जनप्रतिनिधियों एवं संतगणों ने यह भी सुझाव दिये कि ब्रज क्षेत्र में जो भी प्रेक्षागृह हैं वहां पर रासलीलाओं का मंचन किया जाए। श्रीकृष्ण जन्म स्थान के लीला मंच पर श्रीकृष्ण जी की कथाओं का वाचन कराया जाए। इससे सम्पूर्ण विश्व में व भारत वर्ष में भगवान श्रीकृष्ण के संदेशों को स्थापित किया जा सके। कुछ संतों ने द्वारिका और कुरूक्षेत्र को भी इस जन्मोत्सव से जोड़े जाने का सुझाव दिया।
इस बैठक में श्रीवत्स गोस्वामी जी महराज, एमएलसी श्री ओमप्रकाश सिंह व श्री जोगेश नोहवार, महापौर विनोद अग्रवाल, मा0 विधायक श्री पूरन प्रकाश व मेघश्याम सिंह ने भी जन्माष्टमी की व्यवस्थाओं के लिए अपने सुझाव दिये। उ0प्र0 ब्रजतीर्थ विकास परिषद के उपाध्यक्ष शैलजाकांत मिश्र ने कहा कि जन्मोत्सव के आयोजन के लिए जिला प्रशासन के साथ कई बैठके हो चुकी हैं। इस अवसर पर सीईओ श्री श्याम बहादुर सिंह ने बैठक की रूपरेखा प्रस्तुत की।