नई दिल्ली: उन्होंने वाराणसी में अंतरराष्ट्रीय चावल अनुसंधान संस्थान का परिसर राष्ट्र को समर्पित किया। उन्होंने संस्थान की विभिन्न प्रयोगशालाओं का अवलोकन किया।
प्रधानमंत्री ने दीनदयाल हस्तकुल संकुल में एक जिला, एक उत्पाद (ओडीओपी) प्रदर्शनी का अवलोकन किया।
उन्होंने एक व्यापक पेंशन प्रबंधन योजना आरंभ की। उन्होंने वाराणसी में विभिन्न परियोजनाओं का शिलान्यास करने या राष्ट्र को समर्पित करने के लिए पट्टिकाओं का अनावरण किया।
उन्होंने आज अनावरण की गई विभिन्न परियोजनाओं का उल्लेख करते हुए कहा कि इन सभी में एक समान विषयवस्तु है: जीवन की सरलता एवं व्यवसाय करने में सुगमता। उन्होंने उत्तर प्रदेश सरकार की ‘‘एक जिला, एक उत्पाद’’ योजना को ‘‘मेक इन इंडिया’’ का एक विस्तार बताया।
प्रधानमंत्री ने कहा कि उत्तर प्रदेश में छोटे एवं मझोले क्षेत्र के उपक्रम परंपरा के हिस्से रहे हैं। इस संदर्भ में उन्होंने भदोही के कालीन उद्योग, मेरठ के खेल वस्तु उद्योग और वाराणसी के रेशम उद्योग का जिक्र किया। उन्होंने वाराणसी एवं पूर्वांचल को हस्तशिल्प एवं कला का केन्द्र बताया। प्रधानमंत्री ने कहा कि वाराणसी एवं समीपवर्ती क्षेत्रों के दस उत्पादों को भौगोलिक संकेत का टैग प्राप्त हुआ है। उन्होंने कहा कि एक जिला, एक उत्पाद योजना अच्छी मशीनों, प्रशिक्षण एवं विपणन सहयोग सुनिश्चित करने के द्वारा कला की इन अभिव्यक्तियों को लाभदायक व्यवसाय में रूपांतरित कर देगी। उन्होंने कहा कि उन्हें बताया गया है कि इस कार्यक्रम के दौरान लगभग दो हजार करोड़ रुपए के ऋण संवितरित किए जाएंगे।
उन्होंने कहा कि इस योजना में उत्पादों के निर्माताओं के लिए एक समग्र समाधान उपलब्ध कराने पर जोर दिया गया है। उन्होंने कहा कि दीनदयाल हस्तकला संकुल अब इस अंतिम लक्ष्य को पूरा कर रहा है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने सामान्य लोगों के जीवन को बेहतर बनाने तथा व्यवसाय करने की सरलता को बढ़ाने के लिए कार्य किया है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज आरंभ की गई ‘‘संपन्न’’ – द सिस्टम फॉर अथॉरिटी एण्ड मैनेजमेंट ऑफ पेंशन- योजना दूर संचार विभाग के पेंशनधारकों के लिए काफी मददगार होगी और पेंशन के समयबद्ध संवितरण में मदद करेगी।
प्रधानमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार जीवन की सरलता को बेहतर बनाने तथा लोकोन्मुखी सेवाओं की सुविधा को अधिक आसान बनाने के लिए प्रौद्योगिकी का उपयोग कर रही है। उन्होंने कहा कि डाक घरों के जरिए बैंकिंग सेवाओं को विस्तारित करने के लिए इंडिया पोस्ट पेमेंट्स बैंक का उपयोग किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि तीन लाख कॉमन सर्विस सेंटर से अधिक का एक नेटवर्क ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को डिजिटल तरीके से कई प्रकार की सेवाएं उपलब्ध कराने में मदद कर रहा है। उन्होंने देश में इंटरनेट कनेक्शनों की संख्या में विशाल बढोत्तरी की भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि आज देश में एक लाख से अधिक पंचायत ब्रॉडबैंड के जरिए आपस में जुड़ चुके हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि लोगों को सुविधा प्रदान करने के अतिरिक्त डिजिटल इंडिया सरकारी कामकाज में पारदर्शिता भी ला रहा है और भ्रष्टाचार पर अंकुश लगा रहा है। इस संदर्भ में उन्होंने गवर्नमेंट ई-मार्केट प्लेस या जीईएम का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि जीईएम एमएसएमई के लिए बहुत कारगर होगा।
प्रधानमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार एमएसएमई को अधिकार संपन्न बनाने के लिए प्रतिबद्ध है। एमएसएमई के लिए ऋण की सुविधा को सरल बनाने के द्वारा व्यवसाय करने की सरलता भी सुनिश्चित की जा रही है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि एलएनजी के जरिए पूर्वी भारत में आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध कराने तथा उद्योग को बढ़ावा देने के बहुत सारे प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि इसका एक लाभ यह है कि अब यह कूकिंग गैस वाराणसी में हजारों घरों को उपलब्ध हो रही है।
वाराणसी में अंतरराष्ट्रीय चावल अनुसंधान संस्थान परिसर का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि यह केंद्र प्रौद्योगिकी का उपयोग करने के द्वारा कृषि को अधिक लाभदायक बनाने के हमारे प्रयासों का परिणाम है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि काशी का रूपांतरण अब दृष्टिगोचर होने लगा है। उन्होंने कहा कि आज जिन विकास परियोजनाओं का अनावरण हुआ, वे इस दिशा में और मददगार साबित होंगी। उन्होंने दोहराया कि केंद्र सरकार गंगा नदी की सफाई के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा कि लोगों का समर्थन इस लक्ष्य की प्राप्ति की दिशा में आगे बढ़ने के लिए सहायक है।