भोपाल: मध्यप्रदेश में विधानसभा की कार्यवाही छुट्टी के दिन भी चली। सदन में कई महत्वपूर्ण विषयों पर चर्चा चल रही है। शनिवार को कार्यवाही रात रात पौने ग्याहर बजे तक चली थी, उसके बाद रविवार को पूर्वाह्न् 11 बजे फिर कार्यवाही शुरू हुई। निर्दलीय विधायक सुरेंद्र सिंह उर्फ शेरा ने छुट्टी के दिन भी विधानसभा की बैठक बुलाए जाने को मुख्यमंत्री कमलनाथ की कार्यशैली का हिस्सा करार दिया। उन्होंने कहा, “कमलनाथ समय का ज्यादा से ज्यादा और बेहतर उपयोग करना चाहते हैं, इसीलिए रविवार को विधानसभा की बैठक बुलाई गई।”
पूर्व विधानसभा अध्यक्ष और भाजपा विधायक डॉ. सीतासरण शर्मा ने कहा कि विधानसभा सत्र का समय बढ़ाने की बजाय दिवस बढ़ाए जाने चाहिए।
विधानसभा का पावस सत्र 7 जुलाई से शुरू हुआ और 26 जुलाई तक चलेगा। यह सत्र 19 दिनों का घोषित किया गया था। इस दौरान कुल 15 बैठकें प्रस्तावित थीं, लेकिन अब 17 बैठकें होनी हैं।
कांग्रेस ने सत्र के दौरान अपने सभी विधायकों को सदन में उपस्थित रहने के निर्देश दिए हैं। कांग्रेस को सदन में पूर्ण बहुमत नहीं है, कमलनाथ के नेतृत्व में यह सरकार समाजवादी पार्टी (सपा), बहुजन समाज पार्टी (बसपा) और निर्दलीय विधायकों के समर्थन से चल रही है। राज्य की 230 सदस्यीय विधानसभा में कांग्रेस के 114, बसपा के दो, सपा का एक और चार निर्दलीय विधायक हैं। विपक्षी भाजपा के 108 विधायक हैं। एक विधायक के सांसद बन जाने से एक स्थान अभी रिक्त है। न्यूज़ सोर्स RTI News