लखनऊ: प्रदेश के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री श्री सिद्धार्थनाथ सिंह द्वारा आज इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान, गोमती नगर, लखनऊ में भारत सरकार के स्वच्छ भारत मिशन के अन्र्तगत चिकित्सालयों में स्वच्छता व्यवस्था सुदृढ किए जाने के उददेश्य से माननीय प्रधानमंत्री जी द्वारा प्रारम्भ किये गए ‘‘कायाकल्प अवार्ड’’ का वितरण किया गया। कार्यक्रम में प्रदेश के चिकित्सा एवं स्वास्थ्य राज्यमंत्री डा0 महेन्द्र सिंह के साथ ही चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण निदेशालय के अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।
अपने उदबोधन में चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री श्री सिद्धार्थनाथ सिंह ने कहा कि माननीय प्रधानमंत्री की प्रेरणा से 15 मई 2015 को प्रांरभ की गई ’’कायाकल्प अवार्ड’’ योजना के अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2017-18 में 160 जनपद स्तरीय चिकित्सालयों, 260 प्रथम संदर्भन इकाइयाॅ और 350 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रो को आच्छादित किया गया था जिसमें उच्च रैंकिग वाली इकाईयों को आज सम्मानित करते हुए हर्ष का अनुभव कर रहा हूँ। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि च्भ्ब् स्वास्थ्य विभाग की रीढ़ की हड्डी होता है। ऐसे में यदि रीढ़ की हड्डी मजबूत नहीं की जाएगी तो स्वास्थ्य विभाग की तमाम योजनाएं धरातल पर आम जनमानस को ज्यादा से ज्यादा लाभ नहीं पहुंचा पाएंगी। श्री सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश एक बड़ा राज्य है और यहाँ की आबादी के हिसाब से डॉक्टर्स की संख्या कम है। इसके बावजूद प्रदेश के डॉक्टर्स अच्छा काम कर रहे हैं। इसके लिए मैं उनको धन्यवाद भी देता हूँ। उन्होंने यह भी कहा कि स्वास्थ्य मंत्री होने के नाते मैं प्रदेश के डॉक्टर्स को उनका सम्मान वापस दिलाना चाहता हूँ और यह काम मैं करके रहूँगा।
श्री सिद्धार्थ नाथ सिंह ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी जब यह सोच कर काम करेंगे कि कुछ बदलना है, कुछ ठीक करना है तो अवश्य ही धरातल पर कायाकल्प दिखेगा। श्री सिंह ने बदायूं और बरेली में हुई कार्रवाई के बारे में जिक्र करते हुए कहा कि आने वाले समय में भी लापरवाह अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। श्री सिंह ने कहा कि यह निर्णय लिया गया है कि प्रदेश के सभी जिला अस्पतालों का कायाकल्प वल्र्ड बैंक की योजना के तहत किया जायेगा। जिसके अंतर्गत प्रथम चरण में 51 जिला अस्पतालों को चुना गया है। इस ’’कायाकल्प अवार्ड’’ योजना के बारे में विस्तार से बताते हुए उन्होंने कहा कि इसके अन्र्तगत छः थीमेटिक एरिया 1) हास्पिटल अपकीप 2) सैनिटेशन एवं हाईजिन 3) वेस्ट मैनेजमेंट 4) इन्फेक्शन कन्ट्रोल 5) सपोर्ट मैनेजमेंट और 6) हाईजिन प्रमोशन में कुल 500 अंकों के सापेक्ष तीन चरणों पर मूल्यांकन के आधार पर चिन्हित इकाईयों में से अवार्ड के लिए चयन किया गया है। वर्ष 2017-18 में इसके तहत चयनित 116 चिकित्सा इकाईयों में 37 जिला स्तरीय, 25 सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र और 54 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों को अवार्ड के लिए अर्ह पाया गया है।
राज्यमंत्री डाॅ0 महेन्द्र सिंह ने कहा कि उत्तर प्रदेश प्रतिस्पर्धा के माध्यम से स्वास्थ्य सेवा के क्षेत्र में तेजी के साथ आगे बढ़ रहा है। उन्होंने इस वर्ष श्रम्ध्।म्ै के मरीजों की संख्या में कमी आने पर डॉक्टर्स के साथ-साथ अन्य सम्बंधित विभाग के लोगों को भी बधाई दी। उन्होंने कहा कि सभी लोग जब मिलकर साथ काम करेंगे तो निश्चित ही कायाकल्प होगा और इसका फायदा गरीबों व आम जनमानस को होगा। साथ ही प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग की चर्चा सिर्फ प्रदेश में नहीं बल्कि पूरे देश में होगी।
इस अवसर पर मंत्रीगण द्वारा जिला महिला चिकित्सालय ललितपुर को प्रथम स्थान, डा0 राम मनोहर लोहिया जिला संयुक्त चिकित्सालय को द्वितीय स्थान तथा रानी लक्ष्मीबाई संयुक्त चिकित्सालय, लखनऊ को तृतीय स्थान एवं सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र श्रेणी में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, डोभी जौनपुर को प्रथम स्थान, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, पिपराइच, गोरखपुर को द्वितीय स्थान प्राप्त करने वाली चिकित्सा इकाईयों को सम्मानित किया गया। इसी प्रकार प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र श्रेणी में 15 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों को जनपद स्तर पर प्रथम स्थान प्राप्त करने वाली चिकित्सा इकाई को भी सम्मानित किया गया। साथ ही कायाकल्प विषय पर काफी टेबल बुक और फैसिलिटी ब्रांडिग बुक का भी विमोचन किया गया।