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अयोध्या को सोलर सिटी के रूप में विकसित किए जाने की आवश्यकता: सीएम

उत्तर प्रदेश

लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा है कि अयोध्या को सोलर सिटी के रूप में विकसित किए जाने की आवश्यकता है। इससे जहां एक ओर पर्यावरण संरक्षित व संतुलित रहेगा, वहीं दूसरी ओर इस पवित्र नगरी को एक नई पहचान मिलेगी।
मुख्यमंत्री जी आज यहां अपने सरकारी आवास पर अयोध्या के विकास कार्यों के सम्बन्ध में वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से अन्तर्विभागीय समीक्षा बैठक कर रहे थे।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि वर्तमान राज्य सरकार अयोध्या में मूलभूत पर्यटन सुविधाओं सहित समग्र विकास के लिए पूरी प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है। राज्य सरकार के प्रयासों में केन्द्र सरकार का पूरा सहयोग मिल रहा है। उन्होंने कहा कि अयोध्या के विकास में और गति आए, इसके लिए हर स्तर पर त्वरित निर्णय लेकर सभी परियोजनाओं को निर्धारित समय-सीमा में पूरा करना आवश्यक है।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पूरे विश्व में अयोध्या भगवान श्रीराम की नगरी के रूप में जानी जाती है। अयोध्या धाम का पौराणिक महत्व है। इसलिए इसकी पुरातन संस्कृति को अक्षुण्ण रखते हुए अयोध्या को विकसित किया जाए। उन्होंने कहा कि निर्माण कार्यों मंे स्थानीय स्थापत्य की झलक दिखनी चाहिए।
मुख्यमंत्री जी ने अयोध्या के सभी घाटों को संरक्षित करते हुए इनका सौन्दर्यीकरण किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि गुप्तार घाट से नए घाट तक रिवर फ्रण्ट विकसित किया जाए। रिवर फ्रण्ट के विकास से अयोध्या में एक नवीन पर्यटन आकर्षण स्थल उपलब्ध होगा। उन्होंने कहा कि अयोध्या में मल्टीलेवल पार्किंग ऐसी हो, जिससे इसका व्यावसायिक उपयोग किया जा सके। उन्होंने बिजली के तारों को अण्डरग्राउण्ड करने की कार्यवाही तेजी से संचालित करने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि पर्यटकों तथा श्रद्धालुओं के बाधारहित आवागमन पर विशेष ध्यान दिया जाए। अयोध्या में 02 बस अड्डों की व्यवस्था के लिए कार्यवाही की जाए। पंचकोसी, चैदहकोसी तथा चैरासीकोसी परिक्रमा मार्गों को इस प्रकार विकसित किया जाए, जिससे श्रद्धालु सुगमतापूर्वक परिक्रमा कर सकें। अयोध्या के सभी मार्गों का सुदृढ़ीकरण/चैड़ीकरण/मरम्मत, जो भी आवश्यक हो, उसे प्राथमिकता पर किया जाए।
मुख्यमंत्री जी ने लोक निर्माण विभाग को निर्देशित किया कि नगर के मुख्य मार्गों के चैड़ीकरण की कार्यवाही में अयोध्या विकास प्राधिकरण का सहयोग भी प्राप्त किया जाए। उन्होंने कहा कि राम-जानकी मार्ग का निर्माण पूरी गुणवत्ता के साथ कराया जाए। पौराणिक महत्व से जुड़ी इस परियोजना के पूरा हो जाने पर पूर्वांचल के अनेक जनपदों में विकास की रफ्तार तेज होगी।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि निकट भविष्य में अयोध्या में देश-दुनिया से आने वाले पर्यटकों एवं श्रद्धालुओं की संख्या में वृद्धि सम्भावित है। इसके दृष्टिगत अयोध्या में अच्छे होटलों के निर्माण को बढ़ावा दिया जाए। इसके लिए आवश्यक भूमि का चिन्हांकन किया जाए। धर्मशाला एवं विश्रामालय सुविधाओं का विस्तार कराया जाए। डेªनेज सिस्टम की व्यवस्था की जाए। उन्होंने अयोध्या में हवाई अड्डे के निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही में तेजी लाने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि अयोध्या के विश्वस्तरीय प्रचार-प्रसार की बेहतर योजना तैयार की जाए। इसके साथ ही, अयोध्या में गाइड की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए कार्यवाही प्रारम्भ की जाए। इससे जहां एक ओर पर्यटकों को सुविधा होगी, वहीं दूसरी ओर स्थानीय लोगों के लिए रोजगार के नए अवसर भी सुलभ होंगे।
बैठक के दौरान मुख्य सचिव श्री आर0के तिवारी, अपर मुख्य सचिव गृह एवं सूचना श्री अवनीश कुमार अवस्थी, अपर मुख्य सचिव वित्त श्री संजीव मित्तल, अपर मुख्य सचिव सिंचाई श्री टी0 वेंकटेश, अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री श्री एस0पी0 गोयल, अपर मुख्य सचिव राजस्व श्रीमती रेणुका कुमार, प्रमुख सचिव पर्यटन श्री जितेन्द्र कुमार, प्रमुख सचिव लोक निर्माण श्री नितिन रमेश गोकर्ण, प्रमुख सचिव मुख्यमंत्री श्री संजय प्रसाद, प्रमुख सचिव नगर विकास श्री दीपक कुमार, सूचना निदेशक श्री शिशिर सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे। बैठक में अयोध्या के मण्डलायुक्त एवं जिलाधिकारी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने वीडियो काॅन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रतिभाग किया।

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