मसूरी: मसूरी हमारी पहचान व शान है, यहाॅ के लिए जितना भी किया जाय कम है। हमें मसूरी का विकास नियोजित तथा सभी की सक्रिय सहभागिता से करना होगा। मसूरी उत्तराखण्ड की सामूहिक पहचान है। राज्य व मसूरी शहर का विकास मात्र राज्य सरकार के एकांगी प्रयासों से सम्भव नही है बल्कि इसमें सभी नागरिकों का सक्रिय सहयोग आवश्यक है। राज्य सरकार मसूरी में जल आपूर्ति की समस्या का शीघ््रा समाधान चाहती है परन्तु उत्तराखण्ड जैसे छोटे राज्य के लिए 300 करोड़ रूपये की व्यवस्था करना भी एक बड़ी चुनौती है। सभी नागरिकों से अपील है कि जल संरक्षण की दिशा में सभी लोग अपने अपने स्तर से प्रयास करे। मसूरी आबादी के हिसाब से एक छोटा शहर है परन्तु आकांक्षाओं के स्तर पर एक बड़ा शहर है। हमें आने वाले समय में मसूरी की अनेक समस्याओं का समाधान खोजना है जिसमें जाॅर्ज एवरेस्ट से लेकर कब्रिस्तान की चारदीवारी तक शामिल है। मसूरी व नैनीताल जैसे शहरों की नगर पालिकाओं का स्तर अत्यन्त उच्च स्तर का होना चाहिये । इन नगर पालिकाओं के अध्यक्षों को नई पहले करनी चाहिये। मुख्यमंत्री हरीश रावत ने शुक्रवार को मसूरी स्थित टाउनहाॅल में मसूरी देहरादून विकास प्राधिकरण द्वारा मसूरी में प्रस्तावित टाउन हाॅल, पार्किंग एवं 49 करोड़ 89 लाख 45 हजार रूपये की विभिन्न विकास योजनाओं का लोकार्पण व शिलान्यास किया। इनमें 26 करोड़ 45 लाख 30 हजार रूपये की योजनाओं का लोकार्पण व 23 करोड़ 44 लाख 15 हजार रूपये की योजनाओं का शिलान्यास किया गया। लोकार्पित की गई योजनाओं में विशेष योजना सहायता(एसपीए) के अन्तर्गत कार्ट मैकेन्जी मोटर मार्ग का चैड़ीकरण(1.50 लेन) एवं सुधार कार्य, मसूरी राज्य मार्ग-1 पर मोड़ो का चैड़ीकरण व सुधार कार्य, लम्बीधार किमाड़ी देहरादून मोटर मार्ग किमी 01 से 10 का पुनः निर्माण एवं सुधार कार्य, लम्बीधार किमाड़ी देहरादून मार्ग के अवशेष भाग किमी 11.23 एवं 24 का पुनः निर्माण एवं सुधार कार्य व क्याराकुली तो.स पेयजल योजना(जिला योजना) शामिल हैं। शिलान्यास की गई योजनाओं में टाउन हाल व पार्किंग मसूरी का निर्माण कार्य, भट्टा गांव मंदिर से भट्टा गांव की ओर सड़क व रेलिंग निर्माण कार्य, भट्टाफाल से क्याराकुली जाने वाले सड़क व निर्माण कार्य, नाग देवता मंदिर से क्याराकुली सड़क व रेलिंग निर्माण कार्य, भट्टा गांव मंदिर से सामुदायिक भवन निर्माण कार्य, धोबीघाट मसूरी वार्ड न.05 में बारात घर निर्माण कार्य, लण्ढौर वार्ड न.03 में पार्किंग निर्माण कार्य, लण्ढौर वार्ड न.02 मसूरी में सड़क एवं रेलिंग निर्माण कार्य, चार दुकान पार्क मसूरी मंे म्यूजिकल फाउन्टेन व सिविल कार्य के निर्माण कार्य, मसूरी मलिंगार स्थित हवाघर पर गजिबो निर्माण कार्य, घण्टाघर का निर्माण कार्य व छः शहीद द्वारों का निर्माण कार्य शामिल हंै। मुख्यमंत्री श्री रावत ने उपरोक्त सभी योजनाओं को राज्य आन्दोलनकारी शहीदों को समर्पित किया।
मुख्यमंत्री श्री रावत ने स्थानीय जनता को सम्बोधित करते हुए कहा कि मसूरी में पार्किंग की समस्या को सुलझाने के लिए सभी नागरिकों को होम पार्किंग की व्यवस्था करनी होगी जिसके अन्र्तगत अपने घर में अपने वाहनों के लिए पार्किंग की व्यवस्था के साथ ही एक अतिरिक्त वाहन के लिए भी पार्किंग की व्यवस्था की जा सकती है। मसूरी में पार्किग स्थलों को विकसित करने में राज्य सरकार को अत्यन्त व्यय करना पड़ रहा है। सभी नागरिकों को अपने स्तर पर थोड़ा-थोड़ा सहयोग करना चाहिये। मसूरी को अतिक्रमण से कैसे मुक्त किया जाय यह भी एक मुख्य चुनौती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि अपनी संस्कृति व कला को संरक्षित करने की आवश्यकता है। अपनी लोक संस्कृति व कला को अपनी अजीविका व व्यवसाय से जोड़ना होगा। श्री रावत ने कहा कि मुख्यमंत्री के रूप में वह सीधा जनता से संवाद करना आवश्यक समझते है। उन्होंने मसूरी के प्रबुद्ध व सक्षम नागरिकों से कहा कि हमें मात्र सवाल करने वाला ही नही बल्कि सवालों का समाधान खोजने वाला भी बनना होगा। बीते 16 वर्षो में राज्य की क्षमता अनेक क्षेत्रों में बड़ी है। हम सामूहिक प्रयासों से देश के सबसे अधिक विकसित राज्यों में शामिल हो सकते है। आज हम एक तेजी से विकसित होने वाले राज्य बन गये है जिसकी विकास दर 13 प्रतिशत से अधिक है। परन्तु इस विकास दर को बनाये रखने के साथ ही इससे भी तीव्र गति से हमे आगे बढ़ना है। हमें राजनीति से ऊपर उठकर भी राज्य के विकास के बारे में सोचना होगा। हमें अपने संसाधनों को विकसित करना होगा इसके के लिए राज्य सरकार अनेक प्रकार के प्रोत्साहन जिसमें दूध उत्पादन, हस्तशिल्प, प्राकृतिक संसाधन, वृक्षारोपण आदि पर बोनस दे रही है। हमें नौकरी मांगने वाले हाथों को नौकरी देने वाले हाथों में बदलना है। स्थानीय उत्पादों को अच्छी मार्केटिंग की आवश्यकता है। आज विश्व के सभी देश अपने स्थानीय उत्पादों की ब्रांडिग कर रहे है हमें भी इस दिशा में कार्य करना होगा। हमें अपनी प्राकृतिक संपदा की इंटिग्रेटेड मार्केटिंग करने की आवश्यकता है। राज्य सरकार उत्तराखण्ड की लोक संस्कृति, खानपान, बोली भाषा व स्थानीय उत्पादो व शिल्पों को पर्यटन नीति का आवश्यक अवयव मानती है। मुख्यमंत्री श्री रावत ने मसूरी के नागरिकोें तथा युवाओं का आहवाहन करते हुए उन्हें प्रत्येक क्षेत्र में आगे आने के लिए कहा। विकसित क्षेत्रों को अपने आस पास के कम विकसित क्षेत्रों के विकास के लिए आगे आना चाहिये। मसूरी एक विकसित शहर है उसे अपने आस पास के गांव के विकास के लिए कार्य करना चाहिये। केम्पटी के प्राकृतिक संसाधनों को सरंक्षित किये जाने की जरूरत है। राज्य के सभी विकसित क्षेत्रों के आस पास के गांवों को विकसित शहरों में स्थानीय उत्पादों की सप्लाई का कार्य करना होगा जिससे की स्थानीय अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी। विकसित पर्यटक स्थलों के आस-पास छोटे सर्किट विकसित करने की आवश्यकता है जिससे के पर्यटकों को लोकप्रिय पर्यटक स्थलों के अतिरिक्त नए आकर्षण स्थलों से परिचित करवाया जा सके तथा पर्यटन क्षेत्र का पर्याप्त दोहन किया जा सके।
इस अवसर पर केबिनेट मंत्री प्रीतम सिंह पंवार, राज्य मंत्री जोत सिंह घुनसौला, नगर पालिका अध्यक्ष मनमोहन सिंह मल्ल, एमडीडीए उपाध्यक्ष मीनाक्षी सुन्दरम, एमडीडीए सचिव पी0सी0दुमका, जिलाधिकारी रविनाथ रमन आदि उपस्थित थे।