लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार ने किसानों को गुणवत्तायुक्त रासायनिक उर्वरक उपलब्ध कराने एवं उर्वरक का शत् प्रतिशत वितरण सुनिश्चित करने के लिये प्रदेश के समस्त मण्डलायुक्त एवं जिलाधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि प्वाइंट आॅफ सेल (पी0ओ0एस0) मशीन के माध्यम से उर्वरक की बिक्री के उपरांत सभी किसानों को कैश मेमो या पर्ची उपलब्ध करायी जाय। साथ ही यह भी निर्देश दिये हैं कि डी0ए0पी0 एवं एन0पी0के0 उर्वरकांे की बिक्री बोरी पर अंकित अधिकतम खुदरा मूल्य से अधिक दर पर न की जाय। ऐसा करने वाले उर्वरक विक्रेताओं पर नियमानुसार कार्यवाही किये जाने के आदेश दिये गये हैं।
यह जानकारी प्रमुख सचिव कृषि, श्री अमित मोहन प्रसाद ने देते हुये बताया कि उर्वरकों की उपलब्धता एवं वितरण व्यवस्था प्रणाली को सुदृढ़ बनाये जाने हेतु कृषि विभाग, सहकारिता विभाग एवं अन्य संबंधित विभागों के अधिकारियों को आपस में समन्वय स्थापित कर साप्ताहिक मानीटरिंग सुनिश्चित किये जाने के निर्देश दिये गये हैं। उन्होंने कहा कि अन्तर्राज्यीय व अन्तर्राष्ट्रीय सीमाओें के जनपदों में विशेष सतर्कता की आवश्यकता है। साथ ही यह भी सुनिश्चित किये जाने के निर्देश दिये गये हैं कि भारत-नेपाल सीमावर्ती जनपदों में 10 कि0मी0 क्षेत्रान्तर्गत कोई निजी क्षेत्र का उर्वरक बिक्री केन्द्र क्रियाशील न रहे।
प्रमुख सचिव, कृषि ने बताया कि किसानों को पहचान पत्र के आधार पर उनकी जोत एवं फसल हेतु संस्तुत मात्रा के अनुसार ही उर्वरक उपलब्ध कराये जाने के निर्देश दिये गये हैं ताकि महंगे उर्वरकों का असंतुलित प्रयोग एवं कृषि के अतिरिक्त अन्य कार्यों में दुरूपयोग को नियंत्रित किया जा सके।