नई दिल्ली: वित्त विधेयक, 2020 में कंपनी/म्यूचुअल फंड के स्तर पर लाभांश वितरण कर (डीडीटी) को समाप्त करने का प्रस्ताव किया गया और इस पर टैक्स देने की जिम्मेदारी शेयर/यूनिट धारक पर डालने का प्रस्ताव किया गया। इसके साथ ही कंपनी/ म्यूचुअल फंड द्वारा अपने शेयर/यूनिट धारकों को दिये गये लाभांश/आय पर 10 प्रतिशत की दर से टीडीएस लगाने का प्रस्ताव किया गया, बशर्ते कि इस तरह के लाभांश/आय की राशि किसी एक वित्त वर्ष में 5,000 रुपये से ज्यादा हो।
इस आशय के प्रश्न प्राप्त हुए हैं कि क्या प्रस्तावित ‘धारा 194के’ के तहत म्यूचुअल फंड के लिए यूनिटों के विमोचन पर प्राप्त होने पूंजीगत लाभ पर भी टीडीएस (स्रोत पर कर कटौती) काटना जरूरी होगा। यह स्पष्ट किया जाता है कि प्रस्तावित धारा के तहत म्यूचुअल फंड के लिए केवल लाभांश भुगतान पर 10 प्रतिशत की दर से टीडीएस काटना जरूरी होगा और पूंजीगत लाभ के रूप में प्राप्त होने वाली आय पर म्यूचुअल फंड द्वारा कुछ भी टैक्स की कटौती की आवश्यकता नहीं होगी। यदि जरूरत पड़ी तो आवश्यक स्पष्टीकरण को कानून के संबंधित प्रावधान में प्रस्तावित किया जाएगा।