नई दिल्लीः प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए सरकार ने संचार को परिवर्तन दिशा में एक महत्वपूर्ण आधार बनाया है। केंद्रीय सूचना और प्रसारण,शहरी विकास, आवास और शहरी गरीबी उपशमन मंत्री श्री वैंकेया नायडू ने शनिवार को हैदराबाद में इंडियन स्कूल ऑफ बिजनेस में भारतीय सूचना सेवा के वरिष्ठ अधिकारियों (आईआईएस) के लिए मिड करियर प्रशिक्षण कार्यक्रम के समापन समारोह को संबोधित करते हुए यह विचार व्यक्त किये। श्री वैंकेया नायडू ने कहा कि एक प्रक्रिया रूप में संचार को नीति के तौर पर बुना गया है जिसका उद्देश्य अधिकतम शासन, न्यूनतम सरकार है।
उन्होंने कहा कि आज हम त्वरित संचार के युग में रहते हैं मीडिया की छवियां और उनके माध्यम से दिखाए जाने वाले परिदृश्य निरंतर रूप से हमारे विचारों पर प्रभाव डालते हैं। उन्होंने कहा कि एक संस्थागत कौशल उन्नयन कार्यक्रम के माध्यम से हमारी समझ और धारणा को लगातार फिर से विकसित करने की आवश्यकता है जिसमें संचार प्रक्रिया के प्रति हमारे दृष्टिकोण की पुनः समीक्षा शामिल है।
श्री नायडू ने कहा कि पिछले दो वर्षों में सरकार ने अंतिम छोर तक लोगों तक संपर्क को सुनिश्चित करने के लिए व्यापकता के साथ अभिनव संचार पद्धतियों को अपनाने के एक कार्यक्रम का शुभारंभ किया है। उन्होंने कहा कि हमारे दृष्टिकोण ने एक केन्द्रित विचारधारा रखते हुए अनेक विषयों को विभिन्न प्लेटफॉर्मों के माध्यम से सामने लाने का प्रयास किया है।
उन्होंने जानकारी दी कि मंत्रालय ने एक संस्थागत प्रशिक्षण नीति के माध्यम से सूचना सेवा के अधिकारियों को कौशल उन्नयन प्रदान करने की दिशा में एक पहल की है। इसका उद्देश्य इस डिजिटल समय में सामग्री डिजाइन, सामाजिक विपणन, ब्रांडिंग, प्रभाव आंकलन और बुनाई प्रौद्योगिकियों के क्षेत्र में सरकार की संचार पहुंच में आने वाले अंतर को दूर करना है। उन्होंने कहा कि दो सप्ताह के प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्देश्य आईआईएस अधिकारियों को डिजिटल संचार विश्व के साथ गति बनाए रखने के लिए संचार प्रबंधन की बारीकियों पर स्पष्टता और एक स्पष्ट सोच प्रदान करना है। श्री नायडू ने अधिकारियों को जानकारी दी कि उनको संचार के क्षेत्र में इस समकालीन परिवर्तन पर एक सप्ताह के प्रशिक्षण कार्यक्रम के लिए बर्कले विश्वविद्यालय भेजा जाएगा।
श्री नायडू ने कहा कि प्रशिक्षण और विकास, मानव संसाधन विकास का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। प्रौद्योगिकी और संचार के क्षेत्र में हाल की प्रगतियों ने नागरिकों के साथ सरकार की वार्ता का मार्ग पूरी तरह से प्रशस्त कर दिया है। सोशल मीडिया के नेतृत्व में इस परिवर्तन ने शासन के एक नए युग की शुरूआत की है। उन्होंने कहा कि नई प्रौद्योगिकियों के विकास के परिप्रेक्ष्य में अधिकारियों के कौशल का निरंतर उन्नयन बेहद जरूरी है।
श्री वेंकैया नायडू ने कहा कि पिछले दो सालों में वर्तमान सरकार ने नागरिक केंद्रित कई काम किए हैं लेकिन इसके लाभ के बारे में लोगों तक सूचना पहुंचाना अभी भी एक चुनौतीपूर्ण बना हुआ है। सामाजिक और व्यवहार परिवर्तन संचार सरकार की एक प्रमुख योजना ‘स्वच्छ भारत अभियान’ की सफलता में एक महत्वपूर्ण कारक है। उन्होंने कहा, “मुझे उम्मीद है कि मीडिया रणनीति और योजना सामाजिक विज्ञापन, जो अधिकारियों को आईएसबी में प्रशिक्षण के दौरान पढ़ाया जाता है, के बदलते परिदृश्य में सरकार के सामाजिक क्षेत्र की योजनाओं के लिए संचार रोडमैप को परिभाषित करने में लाभकारी होगा और मंजिल तक पहुंचने में भी मुख्य भूमिका निभायेगा।”
जिस तरह आज भी डिजिटल मीडिया संचार और मीडिया परिदृश्य को प्रभावित कर रहा है, इसीलिए सामाजिक और डिजिटल मीडिया सरकार की संचार रणनीति का एक अभिन्न हिस्सा हो गया है। उन्होंने उम्मीद जताई कि अधिकारियों को इससे विभिन्न संगठनों के साथ डिजिटल मीडिया योजना बनाने तथा सार्वजनिक क्षेत्र में चुनौतियों का सामना करने में आसानी होगी।
उन्होंने आगे कहा कि संचार के पुराने माध्यम अभी भी अप्रासंगिक नहीं हुये हैं। ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंच के कारण आज भी रेडियो अपनी प्रासंगिकता बनाये हुये है। यहां तक कि मन की बात कार्यक्रम जो सरकार का एक उत्कृष्ट संचार मंच हो गया है तथा जहां हमारे प्रधानमंत्री विविध विषयों/मुद्दों पर न केवल सीधे वार्तालाप करते हैं बल्कि ‘myGov’ मंच और फोन के जरिये लोगों से जानकारी भी लेते हैं। वर्तमान परिदृश्य में विशिष्ट डोमेन में प्रशिक्षण मामले के अध्ययन और व्यावहारिक जोखिम के बिना अधूरा है। मामले का अध्ययन, अभ्यास और नई अवधारणाओं को लागू करने का एक शानदार तरीका साबित हुआ है। आईआईएस अधिकारियों के लिए अलग-अलग चरणों में प्रशिक्षण सरकार के लिए संचार के व्यापक उद्देश्य और बदलते संचार और प्रौद्योगिकी प्रतिमान को ध्यान में रखते तैयार किया गया है।
बाद में आईएसबी के छात्रों को संबोधित करते हुए श्री नायडू ने जोर देते हुए कहा कि कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है और कोई भी इस पर सवाल नहीं उठा सकता। संसद द्वारा पास जीएसटी विधेयक व्यापार परिदृश्य में एक बड़े बदलाव का परिचायक होगा। विभिन्न वर्गों के लिए निर्देशित विभिन्न सरकारों योजनाओं के बारे में विस्तार से बताते हुए उन्होंने कहा कि पिछले दो सालों मे लोगों ने शासन में परिवर्तन का अनुभव किया है।
8 comments