पटना: एजेंसी को हटाने के बाद नगर निगम खुद से कचरे के उठाव में जुट गया है। इंदौर की तर्ज पर बांकीपुर अंचल से इसका प्रयोग शुरू किया गया है। यानी अब कचरा उठाव के ब्लूप्रिंट में ‘इंदौर इफेक्ट’ दिखेगा।
पटना नगर निगम के बांकीपुर अंचल में डोर टू डोर कचरा उठाव का यह प्रयोग बीते पांच दिनों से चल रहा है। अंचल के वार्ड संख्या 43 और वार्ड संख्या 47 में इंदौर की तर्ज पर ही कचरे को उठाने के लिए गाड़ियां मुख्य सड़कों पर घूमेंगी। इनका समय निर्धारित रहेगा। जब गाड़ियां कचरा प्वाइंट पर पहुंचेंगी, तब सूचनात्मक गीत या तेज सीटी बजाकर लोगों को आने की सूचना दी जाएगी। इसके बाद घर से लोग अपने-अपने कचरे को गाड़ियों तक पहुंचाएंगे। बताते चलें कि कुछ माह पहले घर-घर से कचरा उठाव का अध्ययन करने उप नगर आयुक्त सफाई विशाल आनंद इंदौर का दौरा कर चुके हैं। इसके बाद उन्होंने नगर निगम में अध्ययन रिपोर्ट भी सौंपी थी। घर-घर से कचरा उठाव एजेंसी को हटाने के बाद अब नई व्यवस्था के तहत इस योजना पर काम चल रहा है। बांकीपुर अंचल में होने वाले कचरा उठाव में लगने वाले मानव संसाधन का अनुमान लगाया जा रहा है। इसके लिए अंचल में कार्यरत मजदूरों से ही कचरे का उठाव कराया जा रहा है। एक सप्ताह तक लगातार कचरे का उठाव होने के बाद यह तय किया जा सकेगा कि वार्ड में घर-घर से कचरा उठाव के लिए कितने मजदूर और कितने संसाधन की आवश्यकता है।
खुले में कचरा फेंका तो लगेगा जुर्माना:
शहर में घर-घर से कचरा उठाव का नया मॉडल लागू होने के बाद खुले में कचरा फेंकने वालों की खैर नहीं रहेगी। इसके लिए निगम कठोर प्रावधान करने की योजना तैयार कर रहा है। घर के बाहर खुले में कचरा फेंकने वालों पर जुर्माना लगाया जाएगा। इसके लिए दर तय करने पर विचार चल रहा है। खुले में कचरा फेंकने वालों की कड़ी मॉनिटरिंग की जाएगी।