लखनऊः प्रदेश सरकार ने कर्मचारी भविष्य निधि एवं प्रकीर्ण उपबन्ध अधिनियम-1952 के अन्तर्गत आवृत्त संस्थानों एवं उनके सेवारत कर्मचारियों को प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना का लाभ दिलाने के लिए सभी विभागों, निगमों एवं प्रतिष्ठानों के प्रमुखों को ऐसे कर्मचारियों का विवरण व मार्च एवं अप्रैल माह का इलेक्ट्रानिक चालान कम रिटर्न (ई0सी0आर0) 15 मई 2020 से पहले कर्मचारी भविष्य निधि संगठन के पोर्टल पर अपलोड करने के निर्देश दिये हैं।
प्रमुख सचिव श्रम एवं सेवायोजन श्री सुरेश चन्द्रा ने यह जानकारी देते हुए बताया कि केन्द्र सरकार ने ऐसे संस्थाओं एवं कर्मचारियों को कोविड-19 महामारी से लड़ने में मदद करने के लिए प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना राहत पैकेज की घोषणा की है। इससे कम वेतन पाने वाले कर्मचारियों के रोजगार में व्यवधान नहीं होगा। साथ ही 100 से कम कर्मचारियों को रखने वाले व्यवसायियों को भी मदद मिलेगी।
उन्होंने बताया है कि ऐसे व्यावसायिक संस्थानों में कार्यरत कर्मचारियों की मासिक आय 15000 रुपये से कम हो, उन्हें योजना के तहत 24 प्रतिशत (12 प्रतिशत कर्मचारी $ 12 प्रतिशत नियोक्ता) अंशदान के तहत तीन माह की राशि (मार्च, अप्रैल, मई) का भुगतान केन्द्र सरकार द्वारा किया जायेगा। उन्होंने बताया कि उ0प्र0 अपर केन्द्रीय भविष्य निधि आयुक्त के अनुसार मार्च 2020 में कुल 6250 प्रतिष्ठानों में कार्यरत 475448 कर्मचारियों के सापेक्ष मात्र 89010 कर्मचारियों को 13.63 करोड़ रुपये का लाभ दिया जा सका है। बाकी कर्मचारियों का विवरण संस्थानों द्वारा जमा न करने से योजना का लाभ नही मिल पा रहा है।