लखनऊः अन्त्योदय/पात्र गृहस्थी लाभार्थियों के आधार कार्ड की प्रति प्राप्त करने एवं उसके समुचित संरक्षण के लिए प्रदेश के खाद्य आयुक्त श्री आलोक कुमार ने संबंधित अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश जारी किये हैं। वर्तमान में नगरीय क्षेत्रों में अन्त्योदय/पात्र गृहस्थी लाभार्थी के आधार प्रमाणीकरण के पश्चात ई-पाॅस मशीनों के माध्यम से वितरण कराया जा रहा है। शीघ्र ही ग्रामीण क्षेत्रों में भी ई-पाॅस मशीनों के माध्यम से वितरण कराया जाना है। निर्धारित समय सीमा के भीतर प्रत्येक लाभार्थी की आधार कार्ड संख्या उसके राशन कार्ड से लिंक कराने हेतु प्रदेश स्तर पर अभियान चलाया जा रहा है।
खाद्य अपर आयुक्त श्री अनूप शंकर ने बताया कि इस अभियान में आ रही समस्याओं को दूर करने के लिए संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि ऐसे लाभार्थियों के नाम विलोपित न किये जायें, जिनके आधार की प्रति प्राप्त नहीं हो पायी है, क्योंकि मात्र आधार की प्रति उपलब्ध न कराने के कारण किसी पात्र लाभार्थी को राशन देने से वंचित नहीं किया जा सकता।
खाद्य आयुक्त ने संबंधित अधिकारियों को उपलब्ध कराये जा चुके आधार कार्ड की प्रतियों को समुचित रूप से रखने और संरक्षित करने के निर्देश दिये हैं। उन्होेंने कहा कि ऐसा करना बहुत आवश्यक है क्योंकि आधार कार्ड की प्रति उपलब्ध न कराये जाने के कारण विलोपित किये गये कुछ लाभार्थियों का दावा है वह अपने आधार कार्ड की प्रति पूर्व में उपलब्ध कराई जा चुकी है।
उन्होंने कहा कि इस सम्बन्ध में निश्चित कटआॅफ तिथि को आधार मानते हुये एन0आई0सी0 द्वारा दुकानवार ऐसी सूची उपलब्ध करायी जायेगी, जिसमें दुकान से सम्बद्ध सभी लाभार्थियों का विवरण दर्ज रहेगा तथा प्रत्येक लाभार्थी के नाम सम्मुख यह तथ्य अंकित रहेगा कि उनके द्वारा प्रदत्त आधार फीड हुआ है अथवा नहीं। इसी सूची को एक रजिस्टर में चस्पा कर सम्बन्धित विक्रेता द्वारा मास्टर आधार रजिस्टर के रूप में प्रयोग किया जायेगा। उचित दर विक्रेता इस सूची के आधार पर आधार की छायाप्रति न उपलब्ध कराने की स्थिति से सम्बन्धित लाभार्थियों को अवगत करायेगा तथा अभ्युक्ति के काॅलम में दर्ज करेगा कि आधार नम्बर दिया गया है या नहीं। इसके अतिरिक्त यह भी अंकित किया जायेगा कि आधार बनवाने के इच्छुक होने का सहमति पत्र दिया अथवा नहीं। उन्होंने कहा कि कार्यालय स्तर पर उपभोक्ताओं द्वारा उपलब्ध करायी गयी आधार की प्रतियां एक साथ संलग्न कर एक अलग फाईल में रखी जायेंगी जो कि सीडिंग के बाद नष्ट कर दी जायेंगी। किसी भी लाभार्थी की निजता का हनन न होने पाये, इसका पूरा ध्यान रखा जायेगा।