लखनऊः उत्तर प्रदेश के अल्पसंख्यक कल्याण, मुस्लिम वक्फ एवं हज, कैबिनेट मंत्री श्री धर्मपाल सिंह ने कहा कि अल्पसंख्यक कल्याण वर्ग के छात्र-छात्राओं को आधुनिक शिक्षा से जोड़ने के लिए मदरसों के अध्यापकों को टेªनिंग दिलवायी जाए और उनके प्रशिक्षण कार्यक्रम समय-समय पर संचालित किये जाएं, ताकि बच्चों को अद्तन एवं कौशल विकास संबंधी गुणवत्ता परक शिक्षा उपलब्ध कराई जा सके। उन्होंने कहा कि सरकार का प्रयास है कि अल्पसंख्यक वर्ग के छात्र-छात्राओं को नवाचार, रोजगार और उद्यमशीलता से जोड़ा जाए, ताकि उनके भविष्य की सुदृढ़ता सुनिश्चित हो सके।
श्री धर्मपाल सिंह ने विधानभवन स्थित अपने कार्यालय कक्ष में मदरसा बोर्ड के उन्नयन के संबंध में आज यहां आहूत बैठक में विभागीय अधिकारियों से कहा कि राज्य सरकार का प्रयास है कि शिक्षकों और छात्रों के शिक्षण, सीखने की ललक, अनुसंधान क्षमता में सुधार करने, समस्या समाधान और नवाचार और व्यवहारिक कौशल जैसे गुण विकसित किये जाए ताकि, वास्तविक रूप में आधुनिक शिक्षा के उद्देश्यों की पूर्ति हो सके और अल्पसंख्यक वर्ग के छात्र-छात्राओं को भी इसका भरपूर लाभ मिल सके। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार मदरसों के छात्र-छात्राओं को शिक्षा की मुख्य धारा में जोड़ने, उनको विज्ञान, गणित तथा कम्प्यूटर की शिक्षा दिलाने के लिए प्रतिबद्ध है ताकि वह कौशल विकास एवं रोजगार के आधुनिक मानकों के अनुसार प्रतिस्पर्धा में बेहतर प्रदर्शन करें।
बैठक में अल्पसंख्यक कल्याण राज्यमंत्री श्री दानिश आजाद अंसारी ने कहा कि राज्य सरकार शिक्षा के क्षेत्र में क्रांतिकारी परिवर्तन ला रही है और अल्पसंख्यक वर्ग के छात्र-छात्राओं को इसका लाभ दिलाने के लिए हमें हरसंभव कार्य करना चाहिए और यह प्रयास हो कि अधिक से अधिक बच्चे शिक्षा के क्षेत्र से जुड़े और अपना उज्जवल भविष्य बनायें।
बैठक में मदरसा बोर्ड के चेयरमैन डा0 इफ्तिखार अहमद जावेद, अल्पसंख्यक कल्याण विभाग की निदेशक सुश्री जे0 रीभा तथा मदरसा शिक्षा परिषद के रजिस्ट्रार श्री जगमोहन सिंह उपस्थित थे।