लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार ने मछली पालन, मत्स्य व्यवसाय तथा मत्स्य विकास हेतु ठोस एवं कारगर व्यवस्था की है। मछली पालन को व्यवसाय/रोजगार से जोड़ने की दिशा में भी सफल एवं रचनात्मक व्यवस्था की गयी है। मछली व्यवसाय से प्रदेश के तमाम लोगों को रोजगार मिल रहा है। मछली के स्वादिष्ट व्यंजन भी उपभोक्ताओं को उपलब्ध कराने के लिए सरकार ने मत्स्य निदेशालय को उत्तरदायित्व सौंपा है। मछली के स्वादिष्ट व्यंजनों की बिक्री हेतु लोगों के लिए मोबाईल फिश पार्लर योजना लागू की गयी है।
यह जानकारी मत्स्य विकास राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री रियाज अहमद ने दी। उन्होंने बताया कि चालू वित्तीय वर्ष में मोबाईल फिश पार्लर खोलने के इच्छुक व्यक्तियों को पार्लर की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए 16.50 लाख रुपये की धनराशि 10 जनपदों को आवंटित की जा चुकी है।
मत्स्य विकास मंत्री श्री रियाज अहमद ने बताया कि मोबाईल फिश पार्लर की प्रति इकाई लागत 5.50 लाख रुपये है। पार्लर खोलने के इच्छुक व्यक्तियों को सरकार द्वारा 30 प्रतिशत अर्थात 1.65 लाख रुपये का अनुदान दिया जाता है। शेष धनराशि लाभार्थी को स्वयं वहन करनी होगी।
श्री रियाज अहमद ने बताया कि चालू वित्तीय वर्ष में प्रदेश के 10 जनपदोंः- मऊ, फतेहपुर, गोरखपुर, बिजनौर, सुल्तानपुर, लखनऊ, संभल, हरदोई, बरेली तथा पीलीभीत में एक-एक मोबाईल फिश पार्लर की स्थापना की जायेगी। लाभार्थियों का चयन शुरू किया जा चुका है। उन्होंने बताया कि जनपद बिजनौर एवं पीलीभीत में अल्पसंख्यक वर्ग तथा बरेली जनपद में पिछड़ा वर्ग के मोबाईल फिश पार्लर हेतु लाभार्थी का चयन किया जायेगा शेष 07 जनपदों में सभी वर्गों के इच्छुक व्यक्ति मोबाईल फिश पार्लर खोलने के लिए आवेदन कर सकेंगे। शासन द्वारा चयनित लाभार्थी को इकाई की कुल लागत 5.50 लाख रुपये में से 30 प्रतिशत का अनुदान उपलब्ध कराया जायेगा।
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