नई दिल्ली: सरकारी ई-मार्केटप्लेस (जीईएम) और भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (सीसीआई) ने ई-मार्केटप्लेस में निष्पक्ष एवं प्रतियोगी पर्यावरण बनाने के लिए 6 फरवरी, 2019 को एक सहमति-पत्र पर हस्ताक्षर किए हैं। इस मौके पर सीसीआई और जीईएम के अधिकारियों सहित सीसीआई के अध्यक्ष ए.के. गुप्ता, जीईएम की सीईओ एस. राधा चौहान, सीसीआई के सदस्य यू.सी. नाहटा और संगीता वर्मा भी मौजूद थीं।
सीसीआई और जीईएम दोनों ने विश्लेषण करने के उन्नत उपकरण और व्यावसायिक गुटबाजी जैसी गलत परम्परा की पहचान की प्रक्रिया की अहमियत की प्रशंसा की। सहमति-पत्र पर हस्ताक्षर का उद्देश्य प्रतिस्पर्धा विरोधी गलत परम्पराओं की पहचान के लिए सार्वजनिक खरीद क्षेत्र में दोनों संस्थाओं की कुशलता का इस्तेमाल करना है।
जीईएम, वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय का एक राष्ट्रीय सार्वजनिक खरीद मंच है। जीईएम ने प्रामाणिक विक्रेताओं के रास्ते में आने वाली बाधाओं को दूर करने के लिए प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल किया और वस्तुओं एवं सेवाओं की खरीद-बिक्री के लिए एक ई-मार्केटप्लेस का निर्माण किया।
भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग, भारत सरकार की एक संवैधानिक संस्था है, जिसकी पूरे भारत में प्रतिस्पर्धा कानून, 2002 लागू करने और प्रतिस्पर्धा को गलत तरीके से प्रभावित करने वाली गतिविधियों को रोकने की जिम्मेदारी है।