31 C
Lucknow
Online Latest News Hindi News , Bollywood News

मुख्यमंत्री ने एसोचैम के तत्वावधान में आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित किया

उत्तर प्रदेश
लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री अखिलेश यादव ने कहा है कि निवेश के लिए उत्तर प्रदेश से और कोई बेहतर राज्य नहीं हो

सकता। यहां जरूरत के हिसाब से भूमि, स्किल्ड एवं नाॅन स्किल्ड मानव संसाधन, बड़ा बाजार, निवेश फ्रैण्डली अवस्थापना एवं औद्योगिक निवेश नीति, पर्याप्त विद्युत के साथ-साथ विश्वस्तरीय बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध हैं। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने अवस्थापना एवं औद्योगिक निवेश नीति को दृष्टिगत रखते हुए विभिन्न क्षेत्रों के लिए कई नीतियों को लागू कर रखा है। उन्होंने कहा कि निवेशकों के सुझाव एवं जरूरतों को ध्यान में रखते हुए आगे भी नीतियों को बनाने का काम किया जाएगा।
मुख्यमंत्री आज यहां होटल रेनेसाँ में एसोचैम के तत्वावधान में आयोजित uttarpradesh@doubledigitgrowth (unfolding investment opportunity) कार्यक्रम को सम्बोधित कर रहे थे। इस मौके पर उन्होंने कहा कि प्रदेश के विकास के लिए राज्य सरकार किसी भी संस्था तथा व्यक्ति से सहयोग के लिए तैयार है। प्रदेश के औद्योगिक माहौल में बदलाव का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि इस प्रकार के आयोजन से स्पष्ट है कि राज्य सरकार सही दिशा में प्रयास कर रही है। इसीलिए उद्यमियों और निवेशकों का दिनों-दिन प्रदेश के विकास में योगदान देने का रुझान बढ़ रहा है।
श्री यादव ने कहा कि उनकी सरकार प्रदेश को तरक्की एवं खुशहाली के रास्ते पर तेजी से आगे ले जाना चाहती है, लेकिन यह तभी सम्भव है, जब निवेशक बिना किसी हिचक के प्रदेश में आकर अपने उद्योग स्थापित करें। इसके लिए राज्य सरकार अपने स्तर से ईज़ आॅफ डुइंग बिज़नेस के साथ-साथ तमाम जरूरी नियमों को निवेशक फ्रैण्डली बनाते हुए उचित वातावरण बनाने का प्रयास कर रही है। इसके परिणामस्वरूप उत्तर प्रदेश तेजी से डबल डिजिट ग्रोथ की तरफ बढ़ रहा है। लखनऊ मेट्रो परियोजना का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि तमाम प्रदेश अपने एक नगर में मेट्रो नहीं चला पा रहे हैं। जबकि प्रदेश में नोएडा, गाजियाबाद के अलावा अब लखनऊ में भी मेट्रो चलाने जा रही है। कानपुर नगर, वाराणसी, इलाहाबाद, आगरा एवं मेरठ में भी मेट्रो चलाने के लिए जरूरी औपचारिकताओं को पूरा करने का काम चल रहा है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार निवेश के लिए बुनियादी सुविधाओं का महत्व अच्छी तरह से समझती है। इसीलिए शुरुआत में जब आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे को पी0पी0पी0 माॅडल पर बनाने में सफलता नहीं मिली तो राज्य सरकार ने अपने बजट के माध्यम से इस परियोजना को आगे बढ़ाने का फैसला लिया। उन्होंने कहा कि इस एक्सप्रेस-वे के बन जाने से देश की राजधानी दिल्ली प्रदेश की राजधानी लखनऊ से जुड़ जाएगी। इससे जहां नगरीकरण पर अंकुश लगेगा, वहीं इसके किनारे स्थापित हो रही मण्डियों के फलस्वरूप किसानों की आर्थिक तरक्की भी होगी। यह एक्सप्रेस-वे प्रदेश की आर्थिक तरक्की एवं निवेश के लिए उत्प्रेरक का काम करेगा। उन्होंने कहा कि यह खुशी की बात है कि इतनी बड़ी परियोजना में जमीन को लेकर कहीं भी विवाद नहीं हुआ और किसानों ने राज्य सरकार की नीति को मानते हुए भूमि उपलब्ध कराने का काम किया। राज्य सरकार अब इस एक्सप्रेस-वे को प्रदेश के पूर्वांचल तक ले जाने के लिए काम कर रही है।
श्री यादव ने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा संचालित तमाम योजनाओं से ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक तरक्की के नये संसाधन उपलब्ध हो रहे हैं। कामधेनु डेयरी परियोजना की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि इस योजना की मांग को देखते हुए राज्य सरकार ने 100, 50 एवं 25 दुधारू पशुओं की डेयरी स्थापित करने के लिए आर्थिक मदद प्रदान कर रही है। इससे जहां प्रदेश में दुग्ध उत्पादन में भारी वृद्धि हुई है, वहीं पशुओं की संख्या में भी बढ़ोत्तरी हुई है। दुग्ध उत्पादन को देखते हुए राज्य में मदर डेयरी तथा अमूल निवेश कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश के विकास के लिए राज्य सरकार रचनात्मक सुझावों पर गम्भीरता से विचार करती है। उन्होंने पूर्व राष्ट्रपति स्व0 डाॅ0 एपीजे अब्दुल कलाम का जिक्र करते हुए कहा कि उनके सुझाव पर ही कन्नौज जनपद की तिर्वा तहसील के फकीरपुरा तथा चंदुआहार गाँवों को सौर ऊर्जा के माध्यम से आॅफ ग्रिड ऊर्जीकृत करने का काम किया गया। राज्य सरकार सोलर पावर प्लाण्ट के माध्यम से प्रदेश के दूर-दराज गांवों को रौशन करने का काम तेजी से आगे बढ़ा रही है। उन्होंने कहा कि प्रदेश के विकास के लिए कोई भी व्यक्ति किसी भी स्तर पर मिलकर अपनी बात रख सकता है।
उत्तर प्रदेश में निवेश की अपार सम्भावना की बात को दोहराते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि देश का सबसे बड़ा प्रदेश होने के कारण देश की तरक्की में भी इसका सर्वाधिक योगदान है। राज्य सरकार औद्योगिक वातावरण बनाने के लिए कई स्तर पर प्रयास कर रही है। उत्तर प्रदेश कौशल विकास मिशन के तहत करीब 45 लाख नौजवानों को प्रशिक्षित करने, देश-दुनिया की गतिविधियों से जोड़ने के लिए निःशुल्क लैपटाॅप वितरित करने तथा विश्वस्तरीय शिक्षण संस्थाओं की स्थापना के लिए निजी क्षेत्र को पूरी मदद करने का प्रयास किया गया है। उन्होंने प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों की विविधता का जिक्र करते हुए कहा कि यहां का प्रत्येक क्षेत्र विशेष आर्थिक गतिविधियों में संलग्न है। कहीं क्रिकेट के लिए बल्ला बनाने का काम होता है तो कहीं टेबल टेनिस के लिए विश्वस्तरीय टेबल तैयार किए जाते हैं। इसी प्रकार हर क्षेत्र की गतिविधि को राज्य सरकार प्रोत्साहित करने के लिए काम कर रही है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आई0टी0 तकनीक आधारित ई-गवर्नेंस को बढ़ावा देने के लिए कई फैसले लिए गए। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश, देश का पहला ऐसा राज्य है, जहां किसानों को बीज अनुदान सीधे उनके खाते में प्रेषित किया जा रहा है। इसी प्रकार समाजवादी पेंशन योजना के 45 लाख लाभार्थियों को सीधे उनके बैंक खाते में धनराशि प्रेषित की जा रही है। उन्होंने आश्वस्त किया कि डायल-100 योजना शुरू होते ही जरूरत पर पुलिस 10 से 15 मिनट के अंदर मौके पर पहुंच जाएगी। इस प्रकार राज्य सरकार प्रत्येक क्षेत्र में आधुनिक व्यवस्था पर आधारित कार्य प्रणाली को अपनाते हुए प्रदेश के विकास के लिए लगातार कोशिश कर रही है। इस मौके पर उन्होंने एसोचैम द्वारा प्रकाशित पुस्तिका का लोकार्पण भी किया।
ज्ञातव्य है कि उत्तर प्रदेश आर्थिक आधार पर देश का तीसरा सबसे बड़ा राज्य है। भारतीय अर्थव्यवस्था में इसके योगदान को देखा जाए तो वर्ष 2011-12 तक लगातार गिरावट के बाद इसके योगदान में वृद्धि दर्ज की गई। इससे जाहिर है कि राज्य की अर्थव्यवस्था में सुधार आ रहा है। वर्ष 2011-12 में जहां राज्य का देश की अर्थव्यवस्था में योगदान 7.97 प्रतिशत था, वहीं 2012-13 में बढ़कर 8.08 प्रतिशत तथा 2013-14 में बढ़कर 8.12 प्रतिशत हो गया है।
इससे पूर्व सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम-उद्यम तथा निर्यात प्रोत्साहन राज्य मंत्री श्री नितिन अग्रवाल ने कहा कि करीब 4 वर्षों में राज्य में उद्योग के लिए जो माहौल बनाया गया, उसकी प्रशंसा उद्यमी समाज द्वारा किया जा रहा है। राज्य में निवेश को बढ़ाने के लिए सतत् प्रयास किया जा रहा है।
मुख्य सचिव श्री आलोक रंजन ने एसोचैम के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि राज्य सरकार द्वारा निवेश के लिए दी जा रही सुविधाओं का व्यापक प्रचार-प्रसार एसोचैम के सहयोग के बिना सम्भव नहीं है। विगत 4 वर्षों में सम्पादित विभिन्न परियोजनाओं का विवरण देते हुए उन्होंने कहा कि विगत दो वित्तीय वर्षों में प्रदेश की विकास दर राष्ट्रीय औसत से कहीं ज्यादा रही। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार की नीतियों के फलस्वरूप आगामी वित्तीय वर्ष से विकास के मामले में प्रदेश डबल डिजिट में पहुंच जाएगा।
इस अवसर पर प्रमुख सचिव औद्योगिक विकास श्री महेश गुप्ता ने कहा कि उत्तर प्रदेश जिस गति से विकास कर रहा है, इससे स्पष्ट है कि आगामी वर्ष में यहां की ग्रोथ दहाई अंक में पहुंच जाएगी। उन्होंने कहा कि विगत 3 वर्षों में उत्तर प्रदेश से निर्यात लगभग 38 हजार करोड़ रुपए से बढ़कर 90 हजार करोड़ रुपए तक पहुंच गया है।

Related posts

Leave a Comment

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. Accept Read More