यूक्रेन में हालात को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। जानकारी के अनुसार, यह बैठक अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी में चुनावी शंखनाद का आयोजन करने गए प्रधानमंत्री की वहां से वापसी के तुरंत बाद शुरू हुई। इस दौरान विदेश मंत्री एस. जयशंकर और विदेश सचिव हर्षवर्द्धन श्रृंगला भी मौजूद रहे।
बताया जा रहा है कि पीएम की उच्च स्तरीय बैठक दो घंटे से ज्यादा समय तक चली। इस दौरान पीएम ने कहा कि हमारे छात्रों की सुरक्षा सुनिश्चित करना और उन्हें निकालना हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता है। बैठक के दौरान निकासी में तेजी लाने के लिए यूक्रेन के पड़ोसी देशों के साथ सहयोग बढ़ाने पर चर्चा की गई।
इससे पहले गुरुवार को भी प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में सुरक्षा मामलों की कैबिनेट समिति की बैठक हुई थी। इसमें रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजित डोभाल, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह सहित अन्य कई मंत्री शामिल हुए थे।
इस बैठक के बाद पीएम ने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से बात की थी। इस दौरान पीएम ने अपने लंबे समय से चले आ रहे विश्वास को दोहराते हुए कहा कि रूस और नाटो के बीच मतभेद को केवल ईमानदार बातचीत के माध्यम से ही सुलझाया जा सकता है।
वहीं, शनिवार को यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडिमिर जेलेंस्की ने भी प्रधानमंत्री मोदी से फोन पर बात की थी। जेलेंस्की ने प्रधानमंत्री मोदी से संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) में समर्थन देने का अनुरोध किया था और देश में हालात की जानकारी साझा भी की थी।
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