नई दिल्ली: चंडीगढ़ में क्षेत्रीय संपादक सम्मेलन को संबोधित करते हुए केंद्रीय सड्क परिवहन, राजमार्ग एवं जहाज रानी मंत्री श्री नितिन गडकरी ने मंत्रालय की उपलब्धियों तथा भविष्य के विकास की योजनाओं का एक खाका प्रस्तुत किया। जहाजरानी क्षेत्र के साथ शुरूआत करते हुए उन्होंने बताया कि जहां दुनिया भर में बंदरगाहों ने नुकसान दर्ज किया, भारतीय बंदरगाहों ने 2.6 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की और लगभग 6000 करोड़ रुपये का लाभ अर्जित किया। वर्तमान में देश में 12 बड़े बंदरगाह हैं और 6 और बंदरगाहों के निर्माण की योजना है। मंत्री महोदय ने संक्षिप्त रूप से सागरमाला परियोजना का जिक्र किया जिसके बंदरगाह आधारित आर्थिक विकास से तटीय अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहन मिलने की उम्मीद है, क्योंकि यह विनिर्माण हबों का विकास करेगा एवं मछली पालन को भी बढ़ावा देगा। मंत्री महोदय ने कहा कि विशेषज्ञों के अनुसार सागरमाला औद्योगिक कलस्टरों से 8 लाख करोड़ रुपये का निवेश आएगा। श्री गडकरी ने बताया कि बड़े जहाजों को डॉक पर आने के लिए भारतीय बंदरगाहों की ड्राफ्ट क्षमता को बढाना आवश्यक है, जिससे कि परिवहन क्षमता बढ़ाई जा सके और वाणिज्यिक लागत में कमी लाई जा सके।
श्री गडकरी ने कहा कि वर्तमान में केवल पांच अंतरर्देशीय जलमार्ग हैं और उनकी सरकार ने और 106 अंतरराष्ट्रीय जलमार्गों की पहचान की है और अब इन 111 जलमार्गों को राष्ट्रीय जलमार्गों के रूप में विकसित किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि जलमार्ग एक गेम चेंजर साबित होंगे, क्योंकि इससे वस्तुओं एवं यात्रियों के परिवहन की लागत में कमी आएगी, सड़कों पर भीड़-भाड़ कम होगी तथा प्रदूषण घटाने में भी यह अहम भूमिका निभाएंगे। यह पर्यटन को भी बढावा देगा। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार की योजना 2000 जल बंदरगाहों के निर्माण की है। उन्होंने यह भी कहा कि इन अंतरर्देशीय जलमार्गों के उपयोग को बढ़ाने के लिए सीप्लेन्स,होवरक्राफ्ट्स एवं जल-थल-चर (एमफीबायस) बसों का प्रयोग किया जाएगा।
राष्ट्रीय राजमार्गों के बारे में बोलते हुए उन्होंने कहा कि सरकार की योजना अगले वर्ष तक मानसरोवर को कनेक्ट करने की है। उन्होंने कहा कि एक एक्सप्रेस-वे द्वारा कटरा को भी जोड़ा जाएगा जिससे यात्रा के समय में 6 से 7 घंटों की कमी आएगी। श्री गडकरी ने वरिष्ठ पत्रकारों को जानकारी दी कि उनकी सरकार ने लगभग 90 प्रतिशत परियोजनाओं को फिर से प्रारंभ किया है जो विभिन्न कारणों से अवरुद्ध थीं। उन्होंने बताया कि उनकी सरकार पांच वर्षों की अवधि के दौरान एक लाख किलोमीटर सड़कों को बनाने के लिए पूरे लगन से प्रयास करेगी।
मंत्री महोदय ने यह भी कहा कि देश में प्रदूषण को कम करने की तात्कालिक आवश्यकता है। इस दिशा में एक कदम के रूप में उन्होंने 15 वर्ष पुराने ट्रकों को स्क्रेप करने की योजना बनाई है। इस योजना के एक हिस्से के रूप में ट्रक के विभिन्न हिस्सों को रिसाइकल करने तथा ट्रक मालिकों को होने वाले नुकसान को कम करने के लिए उन्हें रियायत उपलब्ध कराने का भी प्रस्ताव है।
श्री गडकरी ने ट्रैफिक दुर्घटनाओं को लेकर भी चिंता जताई और देश की सड़कों पर बड़ी संख्या में होने वाली मौतों और घायल होने वाले लोगों के प्रति दुख व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि इस बारे में उनके मंत्रालय ने देश में 726 संभावित दुर्घटना स्थलों की पहचान की है। उन्होंने कहा कि दुर्घटनाओं से बचाव के लिए सड़क इंजीनियरिंग ने एक अहम भूमिका अदा की है। मंत्री महोदय ने कहा कि विस्तृत परियोजना रिपोर्ट (डीपीआर) तैयार करने के चरण में इंजीनियरिंग के विभिन्न पहलुओं पर विचार किया जाना चाहिए।