केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण राज्य मंत्री डॉ. एल. मुरुगन ने कहा कि केन्द्र सरकार फिल्म उद्योग में कारोबारी सुगमता लाने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने आज चेन्नई में साउथ इंडियन फिल्म चैम्बर ऑफ कॉमर्स के पदाधिकारियों के साथ अपनी मुलाकात के दौरान यह टिप्पणी की।
सूचना और प्रसारण मंत्रालय ने एक पोर्टल लॉन्च किया है, जिस पर कोई भी विभिन्न विभागों के फिल्म की शूटिंग की मंजूरी के लिए आवेदन कर सकता है। उन्होंने कहा कि इससे निर्माता भारत में किसी भी स्थान पर शूटिंग के लिए ऑनलाइन स्वीकृति हासिल कर सकते हैं, जिससे कारोबारी सुगमता सुनिश्चित होगी।
उन्होंने कहा कि एनीमेशन और वीएफएक्स के लिए एक विश्व स्तरीय शिक्षण संस्थान की स्थापना के लिए आईआईटी, मुंबई के साथ एक एमओयू किया गया है।
फिल्म व्यापार से जुड़े विभिन्न संगठनों के प्रतिनिधि इस कार्यक्रम के दौरान उपस्थित रहे और उन्होंने फिल्म उद्योग के विभिन्न अनुरोधों तथा मांगों से जुड़े ज्ञापन सौंपे। ज्ञापनों में कोविड के चलते फिल्म उद्योग को हुई समस्याओं, पशु कल्याण बोर्ड प्रमाणन, गोपनीयता से जुड़े मुद्दे, फिल्मों की शूटिंग के लिए एकल खिड़की मंजूरी, फिल्मों के लिए दोहरे कराधान जैसे कुछ मुद्दे शामिल थे। उन्होंने क्षेत्रीय सेंसर बोर्ड कार्यालयों में पशु कल्याण बोर्ड की एक इकाई बनाने का भी अनुरोध किया।
केंद्रीय मंत्री को सेंसर बोर्ड में फिल्म उद्योगों के ज्यादा सदस्यों को शामिल करना, सेंसर बोर्ड ट्रिब्यूनल का गठन और दूरदर्शन द्वारा फिल्मफेयर पुरस्कार के लिए चुनी गई अन्य लोकप्रिय फिल्मों का प्रसारण आदि अन्य अनुरोध प्रस्तुत किए गए।
विभिन्न संगठनों के प्रमुख लोगों से ज्ञापन और अनुरोध प्राप्त करने के बाद, केंद्रीय मंत्री ने भरोसा दिलाया कि सरकार फिल्म उद्योग की शिकायतों के समाधान के लिए हरसंभव प्रयास करेगी। उन्होंने कहा कि एसआईएफसीसी में विभिन्न संगठनों के प्रतिनिधियों से मिलना मेरे लिए खुशी की बात है, जिसे दक्षिण भारतीय फिल्म उद्योग का मक्का माना जाता है। केंद्रीय मंत्री ने सभी सदस्यों से विचारों के आदान प्रदान के लिए आगामी गोवा फिल्म महोत्सव में भाग लेने का भी अनुरोध किया।