रूद्रप्रयाग: राजकीय इन्टर कालेज, ऊखीमठ के मैदान में मुख्यमंत्री हरीश रावत ने तीन दिवसीय मद्महेश्वर मेले का दीप प्रज्वलित कर शुभारम्भ किया। मुख्यमंत्री श्री रावत ने मेले के सफल आयोजन के लिए मेला समिति को बधाई दी। उन्होंने कहा कि चारधामों में से दो धामों में शीतकालीन यात्रा को सुविधाजनक बनाने के लिए राज्य सरकार कार्य शुरू करने जा रही है। उन्होंने कहा कि केदारघाटी के लोगों के साहस, सहयोग और हिम्मत से केदारनाथ यात्रा फिर से पटरी पर लौटी है। उन्होंने कहा कि केदार धाम को 2018 में भव्यता नगरी के रूप में विकसित किये जाने का प्रयास किया जायेगा।
मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि पहाड में कृषि की अपार सभ्ंाावनाएं हैं। उन्होंने कहा कि महिला स्वयं सहायता समूहों को 5 हजार रूपये वेकअप मनी के रूप में दिये जा रहे है। जो महिला स्वयं सहायता समूह काम कर रहे है उन्हें 20 हजार रूपये का अनुदान दिया जा रहा है। जो महिला स्वयं सहायता समूह गांव की जमीन को लीज पर लेकर सामूहिक उत्पादन/खेती करना चाहते हो, उन्हें 1 लाख रूपये का अनुदान दिया जाएगा। मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि जन्म से लेकर वृद्धावस्था तक महिलाएं किसी न किसी योजना से लाभान्वित हो रही हैं।
इस अवसर मुख्यमंत्री श्री रावत ने भगवान श्री मद्महेश्वर मेले के लिए 02 लाख रूपये तथा नगर पंचायत ऊखीमठ को 05 लाख रूपये देने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड सर्वाधिक प्रकार की विभिन्न पेंशन देने वाला देश का पहला राज्य बन गया है। उन्होंने कहा कि समाज कल्याण विभाग द्वारा 7 लाख 13 हजार से अधिक लोगों को विभिन्न पेंशनों से लाभान्वित किया जा रहा है। लक्ष्य आगामी एक माह में इसे 8 लाख करने का है। साथ ही अगले वर्ष से पेंशन लेने वाले लाभार्थियों की संख्या को बढ़ाकर 10 लाख करने का लक्ष्य रखा गया है। हमारी प्राथमिकता है कि राज्य सरकार द्वारा संचालित की जा रही जन कलयाणकारी योजनाओं का लाभ हर वर्ग को मिले। हर गरीब के चेहरे पर मुस्कुराहट हो।
उन्होंने कहा कि महिलाओं के लिए राज्य सरकार द्वारा विभिन्न प्रकार की योजनायें चलाई जा रही। इससे पूर्व क्षेत्र महिला मंगल दलों, लोक संस्थाओं एवं स्कूल बच्चो द्वारा रंगारग कार्यक्र्रम प्रस्तुत किये गये।
इस अवसर पर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष किशोर उपाध्याय, मेेला समिति के पदाधिकारियों, क्षेत्रीय जनप्रतिनिधि, जिला प्रशासन के अधिकारी सहित क्षेत्रीय जनता उपस्थित थी।
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