नई दिल्ली: अल्यूमीनियम क्षेत्र की प्रमुख और सार्वजनिक क्षेत्र की नवरत्न कंपनी राष्ट्रीय अल्यूमीनियम कंपनी लिमिटेड (नालको) ने वित्त वर्ष 2018-19 के लिए 9,350 करोड़ रुपये का राजस्व लक्ष्य तय करते हुए भारत सरकार के साथ समझौता ज्ञापन किया है। यह राजस्व लक्ष्य पिछले वर्ष की तुलना में 15 प्रतिशत अधिक है। समझौते ज्ञापन पर खान मंत्रालय के सचिव श्री अनिल गोपीशंकर मुकिम तथा नालको के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक डॉ. तपन कुमार चांद ने कल नई दिल्ली में हस्ताक्षर किए। खान सचिव श्री मुकिम ने कंपनी के शानदार कार्य प्रदर्शन, 2017-18 में कॉरपोरेट गर्वनेंस के उच्च मानक स्थापित करने और 2018-19 के लिए सुदृढ़ कारोबारी योजना बनाने के लिए नालको प्रबंधन की सराहना की। यह समझौता ज्ञापन सार्वजनिक उद्यम विभाग के दिशा-निर्देशों के अनुरूप है और इसे अंतर-मंत्रालय समिति और खान मंत्रालय दोनों के साथ विचार-विमर्श के बाद अंतिम रूप दिया गया।
समझौता ज्ञापन में 2.1 मिलियन टन अल्यूमीनियम उत्पादन का लक्ष्य तय किया गया है। इसमें 100 प्रतिशत क्षमता उपयोग और 4.15 लाख टन अल्यूमीनियम उत्पादन का लक्ष्य तय किया गया है। उत्पादन क्षमता में सुधार के हिस्से के रूप में कुल कार्बन खपत में कमी लाने का लक्ष्य भी तय किया गया है। इसके अतिरिक्त समझौते में अनुसंधान और विकास उत्पादों के वाणिज्यिकरण पर बल दिया गया है।
कंपनी ने वर्ष 2018-19 के लिए 1,100 करोड़ रुपये का कैपेक्स लक्ष्य निर्धारित किया है। एक मिलियन टन की क्षमता वाली पांचवी रिफाइनरी, उत्कल-डीएंडई कोयला ब्लॉकों, पवन ऊर्जा परियोजनाओं, संयुक्त उद्यम की परियोजनाओं तथा संयंत्र उपकरणों के आधुनिकीकरण और उन्नयन पर राशि खर्च की जाएगी। मानव संसाधन के क्षेत्र में रणनीतिक कदम उठाते हुए जनक्षमता परिपक्वता, मॉडल (पीसीएमएम) के माध्यम से कर्मचारियों के मूल्यांकन और ऑनलाइन मानव संसाधन प्रबंधन प्रणाली लागू करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इन लक्ष्यों से नई कॉरपोरेट परियोजना के अनुरूप कंपनी को कार्यबल और कौशल में तालमेल बिठाने में मदद मिलेगी। इस अवसर पर खान मंत्रालय के अपर सचिव डॉ. के.राजेश्वर राव तथा खान मंत्रालय के संयुक्त सचिव श्री अनिल कुमार नायक और मंत्रालय तथा नालको के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।