लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी ने कहा कि अयोध्या में नया घाट चौराहे को लता मंगेशकर स्मृति चौक के रूप में विकसित किया जाए। यह चौराहा अयोध्या में सांस्कृतिक महत्व के विभिन्न स्थानों को जोड़ने वाले प्रमुख स्थल में से एक है। स्मृति चौक पर लता जी के जीवन और व्यक्तित्व को दर्शाने वाले महत्वपूर्ण पहलुओं जैसे संगीत क्षेत्र में उनकी उपलब्धि, आत्मा को छूने वाली उनकी आवाज, शालीन व्यक्तित्व आदि को स्थान दिया जाए।
मुख्यमंत्री जी ने यह निर्देश आज यहां लोक भवन में अयोध्या में स्व0 सुश्री लता मंगेशकर स्मृति चौक के विकास के सम्बन्ध में प्रस्तुतीकरण के अवसर पर दिए। उन्होंने कहा कि स्मृति चौक के मध्य में वाग्देवी सरस्वती की प्रतीक ‘वीणा’ को अवश्य चित्रित किया जाए। यहां अन्य शास्त्रीय वाद्य यंत्र भी प्रदर्शित किए जाएं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि स्मृति चौक के चारों ओर लता जी के संगीत क्षेत्र में सक्रियता के दशकों को प्रदर्शित किया जाना चाहिए। यहां दीप स्तम्भ एवं म्यूजिकल फाउण्टेन तैयार किए जाएं। 31 जुलाई, 2022 तक इसकी डिजाइन को अन्तिम रूप से तय करते हुए प्रस्तुत किया जाए। विकास कार्य प्रत्येक दशा में अगस्त माह के अंत तक पूर्ण कर लिया जाना चाहिए। लता मंगेशकर स्मृति चौक के विकास की कार्ययोजना में अयोध्या की संस्कृति, लोकाचार, यहां के महान इतिहास और यहां के विकास से सम्बन्धित भविष्य की महत्वाकांक्षी रूपरेखा के बीच सामंजस्य होना चाहिए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि स्मृति चौक पर अयोध्या की वैभवपूर्ण समृद्ध विरासत और संस्कृति को प्रदर्शित करते हुए तथा चौक की डिजाइन को पैदल चलने वाले लोगों को ध्यान में रखते हुए, उपयुक्त सड़क डिजाइन, भूमिगत पार्किंग सुविधाओं के साथ तैयार किया जाए।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि स्वर कोकिला भारतरत्न, राम भक्त स्व0 लता मंगेशकर जी की स्मृति को जीवन्त बनाने के लिए अयोध्या में ‘स्मृति चौक’ विकसित करने के विचार के साथ विगत जून माह में एक प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था। भगवान श्रीराम के सर्वाधिक भजन लता जी ने ही गाए हैं। यह सुखद है कि प्रतियोगिता में प्राप्त प्रविष्टियां, स्मृति चौक को भव्य, प्रतिष्ठित और नैसर्गिक स्वरूप देने की हमारी मंशा को सफल बनाने वाली हैं।
मुख्यमंत्री जी ने कहा कि स्व0 सुश्री लता मंगेशकर चौक वैश्विक डिजाइन प्रतियोगिता में 02 लाख से अधिक छात्रों और 150 से अधिक प्रमुख राष्ट्रीय अन्तर्राष्ट्रीय संस्थानों को आमंत्रित किया गया। उत्तर प्रदेश के साथ-साथ गुजरात, महाराष्ट्र, तमिलनाडु, कर्नाटक, बिहार, मणिपुर, उत्तराखण्ड, हरियाणा, दिल्ली, छत्तीसगढ़, उड़ीसा, राजस्थान आदि राज्यों के अनेक नवाचारी रचनात्मक युवाओं ने इस प्रतियोगिता के माध्यम से अपनी कलात्मकता और इनोवेटिव सोच को प्रस्तुत किया है। सभी में कुछ न कुछ अनुपम है, अद्भुत है। अन्तिम डिजाइन में सभी प्रविष्टियों के जरूरी विचारों को समाहित किया जाना चाहिए।
इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव गृह श्री अवनीश कुमार अवस्थी, अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री श्री एस0पी0 गोयल सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।