दो दिवसीय दौरे के दौरान केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री श्री नितिन गडकरी ने हरियाणा में सोहना, राजस्थान में दौसा और बूंदी, मध्य प्रदेश में रतलाम में दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे के कार्य की प्रगति की समीक्षा की। सोहना में, श्री गडकरी के साथ हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री एम.एल.खट्टर और केंद्रीय मंत्री श्री राव इंद्रजीत सिंह ने भी एक्सप्रेसवे की प्रगति की समीक्षा की। हरियाणा में, 160 किलोमीटर सड़क का निर्माण होगा, जिसमें से 130 किलोमीटर का काम पहले ही सौंपा जा चुका है। मंत्री ने कहा कि राजस्थान, मध्य प्रदेश, गुजरात और महाराष्ट्र के जुड़ने से, इस एक्सप्रेसवे से क्षेत्र में संपन्नता और विकास को प्रोत्साहन मिलेगा। श्री गडकरी ने कहा कि दिल्ली एनसीआर में 53,000 करोड़ रुपये की 15 परियोजनाओं को स्वीकृति दी जा चुकी है, जिनमें से 14 परियोजनाओं पर काम जारी है। इन परियोजनाओं के पूरा होने के साथ दिल्ली एनसीआर में वायु प्रदूषण में खासी कमी आएगी और ट्रैफिक जाम की समस्या का समाधान निकलेगा। उन्होंने कहा कि 1,380 किलोमीटर लंबा दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे देश का सबसे लंबा एक्सप्रेस वे है और यह मार्च, 22023 तक तैयार हो जाएगा।
राजस्थान के दौसा में, श्री गडकरी के साथ राज्य के मंत्री डॉ. बी. डी. कल्ला और संसद सदस्य श्रीमती जसकौर मीणा, डॉ. किरोड़ी लोल मीणा और पूर्व सांसद श्री रामनारायण मीणा जुड़ गए। राजस्थान में, 16,600 करोड़ रुपये की लागत से 374 किलोमीटर सड़क का निर्माण होगा। श्री गडकरी ने कहा कि इस एक्सप्रेसवे से अलवर, भरतपुर, दौसा, सवाई माधोपुर टोंक, बूंदी और कोटा जिलों के विकास में सहायता मिलेगी। उन्होंने कहा कि दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे के इस खंड के विकास के साथ दिल्ली से जयपुर की दूरी तय करने में सिर्फ दो घंटे लगेंगे।
श्री गडकरी ने मध्य प्रदेश के रतलाम में संसद सदस्य श्री सुधीर गुप्ता, श्री गुमान सिंह, श्री अनिल फिरोजिया के साथ दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे की प्रगति का निरीक्षण किया। श्री गडकरी ने कहा कि राज्य में एक्सप्रेसवे के 245 किलोमीटर हिस्से का निर्माण 11,000 करोड़ रुपये की लागत से किया जाएगा। उन्होंने कहा कि दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे और चंबल एक्सप्रेसवे मध्य प्रदेश के लिए विकास का इंजन साबित होंगे। उन्होंने कहा कि इनसे रोजगार के कई रास्ते खुलेंगे और क्षेत्र में हथकरघा व हस्तशिल्प और अन्य उपक्रमों को प्रोत्साहन मिलेगा। उन्होंने कहा, रतलाम दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे का मुख्य केंद्र है और राज्य सरकार के समर्थन से औद्योगिक विकास के उद्देश्य से लॉजिस्टिक हब विकास के लिए सभी प्रयास किए जाएंगे।