नई दिल्ली: केन्द्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने शुक्रवार को कहा कि एक करोड़ रुपये से अधिक की नकद निकासी पर दो प्रतिशत की दर से स्रोत पर कर कटौती (टीडीएस) का फैसला एक सितंबर से लागू हो जाएगा। कैश में लेन-देन के नियम 1 सितंबर 2019 से बदलने जा रहे हैं। इस नियम लागू होने के बाद अगर कोई व्यक्ति एक वित्तीय वर्ष में एक करोड़ रुपये से अधिक धनराशि खाते से निकलता है तो उसे 2फीसदी टीडीएस देना होगा।
बैंक से कैश निकालने पर लगेगा तगड़ा चार्ज
सीबीडीटी की ओर से जारी स्पष्टीकरण में कहा कि कम नकदी वाली अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने तथा नकद लेनदेन को हतोत्साहित करने के उद्देश्य से आयकर कानून में यह प्रावधान किया गया है जो 01 सितंबर 2019 से प्रभावी हो रहा है। उसने कहा कि सोशल मीडिया के माध्यम से लोग यह पूछ रहे हैं कि चालू वित्त वर्ष में 31 अगस्त तक नकद निकासी पर दो प्रतिशत टीडीएस क्या लगेगा। इस संबंध में उसने कहा कि आयकर कानून में किए गए प्रावधान एक सितंबर 2019 से प्रभावी हो रहे हैं।
यह प्रावधान एक सितंबर, 2019 से प्रभावी होगा
सरकार ने नकदी लेनदेन को हतोत्साहित करने और देश को कम नकदी वाली अर्थव्यवस्था बनाने के लिए केंद्रीय बजट में एक करोड़ रुपये से अधिक की नकद निकासी पर दो प्रतिशत की दर से टीडीएस लेने का प्रावधान किया है। टीडीएस के बारे में पूछे गए सवाल पर सीबीडीटी ने यह जानकारी देते हुए कहा कि यह प्रावधान एक सितंबर, 2019 से प्रभावी होगा।
1 अप्रैल 2019 से होगी नकद निकासी की गणना
इसलिए इससे पहले की गई नकद निकासी पर यह कानून प्रभावी नहीं होगा, लेकिन यदि कोई व्यक्ति चालू वित्त वर्ष में अब तक एक करोड़ रुपये से अधिक की नकद निकासी कर चुका है तो आगे की निकासी पर दो प्रतिशत टीडीएस लगेगा। हालांकि, एक करोड़ की निकासी की गणना 1 अप्रैल 2019 से होगी। केंद्र सरकार ने पांच जुलाई को पेश किए आम बजट में एक साल में एक करोड़ से ज्यादा की नकद निकासी पर 2 प्रतिशत टीडीएस लगाने का ऐलान किया था।source: oneindia