पंजाब नेशनल बैंक में 11300 करोड़ रुपये का घोटाला सामने आने के बाद बैंक के कर्मचारियों पर गाज गिरनी शुरू हो गई है. घोटाले के बाद से पिछले एक हफ्ते के भीतर बैंक ने अभी तक अपने 18 हजार कर्मचारियों का तबादला कर दिया है. बुधवार को इस मामले में कई चीजें सामने आई हैं.
गीतांजलि के दो अधिकारी हिरासत में
इसी बीच, गीतांजलि ग्रुप के मैनेजर नितिन शाही और सीएफओ कपिल खंडेलवाल को भी भी हिरासत में लिया गया है. नितिन ने ही पीएनबी की ब्रैडी हाउस ब्रांच से LoU हासिल करने के लिए एप्लिकेशन दिया था. ये वही LoUs हैं, जिन्हें बैंक के सेंट्रल बैंकिंग सिस्टम (सीबीएस) में रिकॉर्ड नहीं किया गया था.
यह सब शाही के दिशानिर्देश पर ही किया गया था. नितिन शाही को 5 मार्च तक सीबीआई की हिरासत में भेजा गया है. नितिन शाही के अलावा गीतांजलि के सीएफओ कपिल खंडेलवाल को भी 5 मार्च तक हिरासत में भेजा गया है.
आयकर विभाग ने नीरव मोदी को भेजा नोटिस:
नीरव मोदी के खिलाफ आयकर विभाग ने भी जांच शुरू कर दी है. आयकर विभाग ने नीरव मोदी को नोटिस जारी कर 27 फरवरी तक जांच अधिकारियों के सामने पेश होने को कहा है. आयकर विभाग ने कहा है कि जो दस्तावेज सीज किए गए हैं, इनसे काफी बड़े स्तर पर कर चोरी की बात पता चली है.
नीरव मोदी को ब्लैक मनी एक्ट के तहत भी नोटिस जारी किया गया है. सरकारी सूत्रों ने बताया कि ये दो नोटिस विदेशी बैंक खातों को लेकर भेजे गए हैं. सूत्रों का कहना है कि प्रावधान काफी कड़े हैं और इनकी बदौलत नीरव जल्द गिरफ्तार किए जा सकते हैं.
बता दें कि पीएनबी में हुए इस महाघोटाले को लेकर सीबीआई और प्रवर्तन निदेशालय की जांच चल रही है. इस मामले में लगातार ईडी कार्रवाई कर रही है. महाघोटाले की जांच में ईडी की टीम 17 जगहों पर छापे मार रही है. इन 17 जगहों में से चार जगह मुंबई में हैं, जहां नीरव मोदी और मेहुल चोकसी की फर्जी कंपनियों का पता दिया गया है.
अभी तक नीरव मोदी और मेहुल चोकसी की 126 फर्जी कंपनियों का पता चला है. इनमें से 78 कंपनियां नीरव मोदी और 48 कंपनियां चोकसी की हैं. सूत्रों के मुताबिक इन कंपनियों की संख्या बढ़ भी सकती है.
इससे पहले, सीबीआई ने नीरव मोदी के अलीबाग स्थित फॉर्म हाउस में लगभग 4 एकड़ में बने बंगले, एक स्कॉर्पियो और 27 लाख की महिंद्रा रेक्सटॉन दो कारों को सीबीआई ने जैमर लगाकर सील कर दिया.
जनहित याचिका पर सुनवाई से इनकार
इससे पहले, बुधवार को ही इस घोटाले के आरोपी नीरव मोदी के प्रत्यर्पण के लिए दायर जनहित याचिका पर फिलहाल सुप्रीम कोर्ट ने सुनवाई से इनकार कर दिया. केंद्र सरकार के अटॉर्नी जनरल केके वेणुगोपाल ने कहा है कि उन्हें इस जनहित याचिका पर गंभीर आपत्ति है और वह इसका विरोध करेंगे. उन्होंने याचिकाकर्ता के मकसद पर भी सवाल उठाए. (Aajtak)