लखनऊ: प्रमुख सचिव ऊर्जा एवं चेयरमैन उ0प्र0 पावर कारपोरेशन श्री आलोक कुमार ने बताया कि विद्युत चोरी रोकर विद्युत व्यवस्था ठीक करने के प्रयास में तेजी आयी है। मात्र 21 मई से 28 मई के बीच एक सप्ताह में पूरे प्रदेश में 5516 मास रेड चेकिंग हुयी है, जिसमें से 3215 विद्युत चोरी के मामले पकड़े गये है। चोरी के गम्भीर 159 मामलों में एफ0आई0आर0 भी दर्ज हुयी है। 22 व अन्य मामले अनियमितताओं के हैं।
प्रमुख सचिव ऊर्जा ने वीडियों कांफ्र्रेन्सिंग के माध्यम से प्रदेश के सभी डिस्काम के प्रबन्ध निदेशकों को चोरी के विरूद्ध अभियान को और प्रभावी करने के निर्देश दिये। साथ ही उन्होंने अधिकारियों को यह भी निर्देशित किया है कि मास रेड में किसी भी उपभोक्ता को अनावश्यक परेशान न किया जाय। उपभोक्ता हमारे लिए सर्वाधिक महत्वपूर्ण है। इसलिए ईमानदार उपभोक्ता को कोई परेशानी न हो, बल्कि उसकी समस्याओं का तत्काल निस्तारण भी सुनिश्चित किया जाय।
उन्होंने यह भी निर्देशित किया है कि जहाॅ भी चोरी पकड़ी जाये उनका कनेक्शन तुरन्त काट दिया जाये और कनेक्शन तभी जोड़ा जाये जब वे नियमानुसार अपना भुगतान जमा कर दें। सबसे ज्यादा छापे पश्चिमांचल डिस्काम में 1965 डाले गये हैं। दूसरा नम्बर पूर्वांचल का है। जहाॅ 1301 रेड डाली गयी है।
वीडियों कांफ्रेन्सिंग में कम छापे डालने वाले सर्किल विद्युत वितरण खण्ड मैनपुरी, मथुरा, महोबा, बरेली, लखीमपुर-।।, आजमगढ़, बस्ती, सोनभद्र, बिजनौर-।। मुरादाबाद, रामपुर, तथा ईयूडीसी-प्ए प्प्प्ए टप्प् लेसा के लिये प्रमुख सचिव ने विद्युत चोरी रोकने के प्रयासों को तेज करने के निर्देश दिये। उन्होनं चेतावनी दी कि इन कायों में लापरवाही बरदास्त नहीं की जायेगी।
गा्रमीण क्षेत्रों में सबसे कम विद्युत बिल जमा करने वाले क्षेत्रों में सिद्धार्थ नगर, बस्ती, एंव बहराइच के अधिकारियों को प्रमुख सचिव ने फटकार भी लगायी और ग्रामीण क्षेत्रांे में राजस्व वसूली बढ़ाने के निर्देश दिये। इसी तरह प्रदेश के 13965 उपभोक्ता के स्वीकृत भार में वृद्धि की गयी तथा 2009 उपभोक्ताओं के टैरिफ के श्रेणी में बदलाव किया गया। एक अप्रैल से 27 मई के बीच प्रदेश में 4 लाख उपभोक्ताओं के यहाॅ मीटर लगाये गये।