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हथकरघा बुनकरों को मिले बढ़ावा: सुधीर चन्द्र नौटियाल

उत्तराखंड

देहरादून: आयोजक उत्तराखण्ड हथकरघा एवं हस्तशिल्प विकास परिषद उद्योग निदेशालय, देहरादून एवं प्रायोजक विकास आयुक्त (हथकरघा) भारत सरकार द्वारा नेशनल हैण्डलूम एक्सपो को दिन-प्रतिदिन देहरादून वासियों का अच्छा रूझान देखने को मिल रहा है। यह प्रदर्शनी 10 जनवरी तक चलेगी।

निदेशक उद्योग श्री सुधीर चन्द्र नौटियाल जी ने पत्रकार वार्ता के दौरान बताया कि नेशनल हैण्डलूम एक्सपो उत्तराखण्ड में 2002 से लग रहा है और हर साल की तरह इस साल भी देहरादून वासियों का अच्छा रूझान मिल रहा है अभी एक सप्ताह में ढ़ाई करोड़ का व्यापार हो चुका है और अनुमान है कि प्रदर्शनी के अंत तक लगभग पांच से छः करोड़ का व्यपार होगा। उन्होंने बताया कि पिछले वर्ष साढ़े चार करोड़ रूपये का व्यपार हुआ था। सुधीर चन्द्र नौटियाल जी ने बताया कि इस बार आपको उत्तराखण्ड के 45 स्टॉल लगे हैं जिनमें साडियां, कोट, टोपी, सॉल, अंगूरा के बने सॉल, स्टॉल आदि देखने को मिलेगी। उन्होंने बताया कि इस बार उत्तराखण्ड सहित 17 राज्यों ने इस एक्सपो में भाग लिया है जिसके200 स्टॉल लगाये गये हैं सभी स्टॉल हैण्डलूम के हैं। यहां पहली बाद लद्दाख का स्टॉल भी लगा है जिसमें आपको याक के ऊन के बने उत्पाद मिल जायेगें।

निदेशक उद्योग ने बताया कि बुनकरों की सेल लगभग 70 प्रतिशत हैण्डलूम एक्सपो के द्वारा ही होती है ये बुनकर पूरे देश में लगे प्रदर्शनी में घुमते हैं। उन्हांने बताया कि देहरादून में हथकरघा बुनकरों को ज्यादा फायदा होता है क्योंकि परेड ग्राउड शहर के बीचों-बीच में है और यहां पर लोग आसानी से आ जाते हैं।

निदेशक उद्योग ने कहा कि अगर हमारे शिल्पी व बुनकरों को फायदा मिल रहा है तो हमें भी उनका साथ देना चाहिए। आपको जो उत्पाद प्रदर्शनी में मिल रहा है वहीं उत्पाद बाजारों में आपको तीन गुना ज्यादा दामों पर मिलेगा और उत्पाद की क्वालिटी भी सही नहीं होगी। उन्होंने कहा कि हमें हैण्डलूम के अलावा अपने पहाड़ी दालों, अनाजों व फलों का भी प्रचार-प्रसार करना है उनके भी स्टॉल यहां लगाये गये है जो उत्तराखण्ड के पहाड़ी क्षेत्रों से आये हैं।

निदेशक उद्योग सुधीर चन्द्र नौटियाल जी ने प्रैस वार्ता के दौरान बताया कि नेशनल हैण्डलूम एक्सपो में तीन दिवसीय 4 दिसंबर से 6 दिसंबर तक बायर्स सैलर मिट का अयोजन किया हैं जिसमें आईकेआर, फेब इंडिया व ईपीसीएच के विशेषज्ञ आयेंगे और उत्तराखण्ड चमोली, पिथोरागढ़, ऊधमसिंह नगर आदि क्षेत्र से आये शिल्पकारों को बतायेगे कि किस तरह से उत्पाद का मॉडल तैयार किया जाता है और किस तरह से उसको डिजाईन किया जाता है।

पत्रकार वार्ता के श्री सुधीर चन्द्र नौटियाल निदेशक उद्योग, श्रीमती शैली डबराल उप निदेशक उद्योग, डॉ0 पूनम सिन्हा निदेशक एनआईईएसबीयूडी, केसी चमोली मेला अधिकारी, जगमोहन बहुगुणा, एमएस नेगी, कुँवर सिंह बिष्ट व केहकशा नूरी उपस्थित थे।

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