देहरादून: गोरखा मिलिट्री इंटर कालेज में आयोजित कार्यक्रम में प्रदेश जूनियर हाई स्कूल शिक्षक संघ द्वारा मुख्यमंत्री हरीश रावत का अभिनंदन किया गया। मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि प्राथमिक शिक्षा की सर्वाधिक महत्ता है। राज्य का भविष्य प्राथमिक शिक्षकों द्वारा गढ़ा जाता है।
मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि शिक्षकों का हित राज्य सरकार के लिए सर्वोपरि है। सर्वाधिक बैठकें शिक्षकों के लिए ही की गई हैं। शिक्षक भी यूनियन की तरह नही बल्कि शिक्षक की तरह सोचें। हमने शिक्षकों, कर्मचारियों, आशा, आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों, उपनलकर्मियों, पीआरडी सभी के लिए जितना हो सकता था, किया है।
जूनियर हाई स्कूल के पृथक संचालन, सर्व शिक्षा के शिक्षकों के वेतन का आहरण कोषागार ये किए जाने के निर्देश दिए जा चुके हैं। मुख्यमंत्री ने जूनियर हाई स्कूल शिक्षक संघ के भवन के लिए धनराशि दिए जाने की बात भी कही।
मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि हर छह माह में आशा व आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों के लिए कुछ न कुछ किया है। पीआरडी का मानदेय दुगुना किया, सेवा सुरक्षा दी। अतिथि शिक्षकों का मानदेय पंद्रह हजार रूपए किया, उनके लिए न्यायपालिका के दायरे में हर सम्भव रास्ता निकाला गया है। उपनल कर्मियों को भी सेवा सुरक्षा दी और मानदेय बढ़ाया।
मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि धरना प्रदर्शन से नही, वार्ता से रास्ता निकलता है। मांगों के प्रति सरकार संवेदनशील है, परंतु नियम प्रक्रियाएं, इंटर कैडर प्रभाव आदि बातें भी देखनी होती हैं। हमारे राज्य में वेतन विसंगितियां अधिक हैं। हमने सातवें वेतन आयोग को लागू करने के साथ ही वेतन विसंगितियों पर समिति भी गठित करने का निर्णय लिया है।
इस अवसर पर रेडक्रास सोसायटी के चेयरमेन रणजीत सिंह वर्मा, निदेशक प्रारम्भिक शिक्षा सीमा जौनसारी, जूनियर हाई स्कूल शिक्षक संघ के प्रदेश संरक्षक बीडी तिवारी, प्रदेश अध्यक्ष सुभाष सिंह आदि उपस्थित थे