पौड़ी/देहरादून: मुख्यमंत्री हरीश रावत आज अपने चिरप्रतिक्षित दौरे पर ग्राम तोली पहुंचे और यहां पर जौलीग्राण्ट हिमालयन इंस्टीट्यूट
आॅफ मैनेजमैंट के संस्थापक स्वामी राम जी की जन्मस्थली ग्राम तोली में पाॅलीटेक्निक काॅलेज एवं पाॅलीक्लिनिक संस्थान का शिलान्यास वैदिक मंत्रोच्चारण के बीच किया। इस अवसर पर तोली में आयोजित कार्यक्रम में अपने विचार व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि श्री स्वामी राम जी उत्तराखण्ड के ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण भारत समेत विश्व के युगदृष्टा रहे। मुख्यमंत्री ने स्वामी राम जी का नमन करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने कहा कि वे उत्तराखण्ड की पहचान के रूप में जाने जाते रहे हैं। उन्होंने कहा कि भविष्य में हिमालयन इंस्टीट्यूट द्वारा ग्राम तोली में नर्सिंग कालेज की स्थापना भी की जाएगी। जिसके लिए राज्य सरकार संस्थान को भूमि उपलब्ध कराएगी। उन्होंने कहा कि राज्य के विकास के लिए नीतियां बनाई जाएंगी। जिनमें मुख्य रूप से पर्वतोन्मुखी, गरीबों के उत्थान तथा महिलाओं को आगे बढ़ाने को लेकर कार्यक्रम तैयार किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड अपने बलबूते परिर्वतन नहीं कर सकता। इसके लिए महिलाओं को भी बराबरी देनी होगी तभी उत्तराखण्ड उन्नत प्रदेश बनेगा। उन्होंने कहा कि सरकार वर्तमान में 6 लाख लोगों को पेंशन मुहैया करा रही है और उन्होंने इस पेंशन को साढे़ सात लाख लोगों तक पहुंचाने का लक्ष्य निर्धारित किया है। उन्होंने बताया कि सरकार द्वारा प्रत्येक जिलाधिकारी को निर्देशित कर दिया गया है कि लगातार दो कन्याओं को जन्म देने वाली महिलाओं को सम्मानित किया जाए। उन्होंने विभिन्न योजनाओं में महिलाओं के लिए पौष्टिक आहार उपलब्ध कराए जाने के साथ ही शादी-विवाह के अवसर पर शगुन अक्षर गाने वाली महिलाओं को भी पेंशन का लाभ दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड की तरक्की के लिए नीति आयोग राज्य सामुहिक विकास की ओर अग्रसर है। उन्होंने बताया कि राज्य को शिक्षा का हब बनाया जाएगा और सरकार शिक्षा के विकास के लिए धन की कमी नहीं आने देगी ताकि उत्तराखण्ड में शिक्षा का स्तर उत्कृष्ट हो। उन्होंने कहा कि अब प्रत्येक विद्यालयों में अध्यापकों की तैनाती की जाएगी साथ ही महिलाओं से कहा कि वे अपने बच्चों की शिक्षा की ओर विशेष ध्यान रखें और यह देखें कि वे स्कूल की पढ़ाई सही ढ़ंग से कर रहे हैं या नहीं। क्योंकि विद्यार्थी की पहली पाठशाला उसका अपना घर होता है। इस अवसर पर उन्होंने पूर्वी एवं पश्चिमी नयार नदी में जलाशयों का निर्माण कर लघु जल विद्युत उत्पादन की योजनाएं बनाने की बात कही। जिससे क्षेत्र का समुचित विकास भी हो सकेगा। उन्होंने सरकार द्वारा चलायी जा रही योजनाओं का लाभ उठाने की अपील जनता से की तथा वे जनता के बीच जाकर भी सबसे मिले और सबकी समस्याओं से रूबरू हुए तथा समस्याओं के निदान हेतु आवश्यक कार्यवाही करने की बात कही।
पाॅलीटेक्निक कालेज एवं पाॅलीक्लिनिक के शिलान्यास कार्यक्रम में स्वामी राम विश्वविद्यालय के कुलपति डाॅ0 विजय धस्माना ने संस्थान द्वारा चलाए जा रहे चिकित्सीय कार्यक्रमों की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि स्वामी राम जी का जन्म 2 नवम्बर 1923 को ग्राम तोली में हुआ था। तत्पश्चात वे देश के विभिन्न स्थानों में भ्रमण करने के उपरांत वर्ष 1952 में वापस अपने जन्म स्थान आए तथा यहां की समस्याओं को दूर करने का प्रयास हमेशा करते रहे। उनकी दूरदृष्टि के फलस्वरूप ही हिमालयन इंस्टीट्यूट आॅफ मैनेजमैंट की स्थापना जौलीग्राण्ट में की गई। जहां पर लोगों को बेहत्तर चिकित्सीय सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। उन्होंने बताया कि स्वामी राम जी फरवरी 1994 में एक बार पुनः ग्राम तोली आए तथा अपने गिरते स्वास्थ्य को देखते हुए उन्होंने लोगों की सेवा करना ही अपना धर्म माना। डाॅ0 धस्माना ने ग्राम तोली में आए सरकार के प्रतिनिधियों, विभागीय अधिकारियों तथा क्षेत्रीय जनता का अभिवादन करते हुए कहा कि क्षेत्र के विकास के लिए स्वामी जी द्वारा निर्धारित किए गए लक्ष्यों की ओर उनकी पूरी निगाह है तथा इन लक्ष्यों को पूर्ण करने के लिए वे तन, मन, धन से लगे हैं। इस अवसर पर गढ़वाली पत्रिका धाद का भी विमोचन मुख्यमंत्री द्वारा किया गया।
इस अवसर पर उपस्थित क्षेत्रीय विधायक तीरथ सिंह रावत, लैंसडाउन विधायक महंत दिलीप रावत, जिला पंचायत अध्यक्ष दीप्ति रावत समेत कांग्रेस पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय ने भी जनता को संबोधित किया तथा लोगों से कहा कि वे स्वामी राम जी द्वारा दिखाए गए रास्ते पर चलते हुए प्रदेश को आगे बढ़ाने का प्रयास करें।