लखनऊ: उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जी के समक्ष आज यहां उनके सरकारी आवास पर प्रस्तावित चिकित्सा शिक्षा नीति के सम्बन्ध में प्रस्तुतीकरण किया गया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री जी ने कहा कि राज्य सरकार प्रदेशवासियों को अच्छी एवं उच्चस्तरीय चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए कटिबद्ध है। प्रदेश सरकार प्रत्येक जनपद में न्यूनतम एक मेडिकल कॉलेज की स्थापना के लिए प्रतिबद्ध है। इस उद्देश्य की पूर्ति के लिए राज्य सरकार प्रदेश के सभी 75 जनपदों में मेडिकल कॉलेजों की स्थापना करा रही है। उन्होंने कहा कि प्रत्येक जनपद में मेडिकल कॉलेज की स्थापना से सम्बन्धित जनपदवासियों को चिकित्सा सुविधाएं प्राप्त करने में आसानी होगी। उन्हें गम्भीर रोगों के इलाज के लिए दूसरे जनपदों में नहीं जाना पड़ेगा।
प्रस्तुतीकरण करते हुए मुख्यमंत्री जी को प्रमुख सचिव चिकित्सा शिक्षा श्री आलोक कुमार ने चिकित्सा शिक्षा नीति के सम्बन्ध में विस्तार से अवगत कराया। उन्होंने पी0पी0पी0 मॉडल के आधार पर मेडिकल कॉलेजों के विकास के सम्बन्ध में विभिन्न प्रस्तावित मॉडलों की जानकारी दी।
मुख्यमंत्री जी को प्राइवेट सेक्टर इन्वेस्टमेण्ट पॉलिसी फॉर हेल्थकेयर के तहत विभिन्न प्रोजेक्ट के लिए निर्धारित टाइमलाइन के सम्बन्ध में भी अवगत कराया गया। उन्हें जनपदों में मेडिकल कॉलजों की स्थापना के लिए भारत सरकार द्वारा संचालित वायबिलिटी गैप फण्डिंग (वी0जी0एफ0) के विषय में भी विस्तार से जानकारी दी गई।
मुख्यमंत्री जी ने इस प्रस्तावित चिकित्सा शिक्षा नीति का पुनः आकलन करते हुए इसमें आवश्यक संशोधन करने के उपरान्त इसे शीघ्र लागू कर जनपदों में मेडिकल कॉलेजों की स्थापना की त्वरित कार्यवाही करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जनपदों में शीघ्रता के साथ मेडिकल कॉलेजों की स्थापना सुनिश्चित की जाए, जिससे सम्बन्धित जनपदों के वासियों को बेहतर चिकित्सा सुविधाएं आसानी से उपलब्ध हो सकें।
प्रस्तुतीकरण के दौरान चिकित्सा शिक्षा मंत्री श्री सुरेश कुमार खन्ना, अपर मुख्य सचिव वित्त श्रीमती एस0 राधा चौहान, अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री श्री एस0पी0 गोयल, सचिव मुख्यमंत्री श्री आलोक कुमार सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।