लखनऊ: प्रदेश के ऊर्जा मंत्री श्री ए.के. शर्मा ने मुख्य सचिव श्री दुर्गाशंकर मिश्र के साथ मिलकर आज शक्ति भवन में ऊर्जा विभाग के अधिकारियों एवं सभी डिस्काम के प्रबंध निदेशकों के साथ बिजली व्यवस्था की बेहतरी एवं राजस्व वसूली में बढ़ोत्तरी के लिए किये जा रहे प्रयासों की समीक्षा की। इस दौरान उन्होंने निर्देशित किया कि बेहतर कार्य करने वाले अधिकारियों को सम्मानित करें तथा बिजली व्यवस्था के कार्यों में लापरवाही एवं सरकार की जीरो टॉलरेंस के नीति के विपरीत भ्रष्टाचार करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए। उन्होंने विभागीय अधिकारियों और कर्मचारियों के यहां भी मीटर लगाने तथा व्यवस्थानुसार विद्युत उपयोग करने के निर्देश दिए।
श्री ए.के. शर्मा ने कहा कि विद्युत समस्याओं के समाधान के लिए और विद्युत व्यवस्था के बेहतरी हेतु अधिक से अधिक आधुनिक तकनीक का प्रयोग किया जाए, जिससे लोगों को इसका शीघ्र फायदा मिलें। उन्होंने कहा कि अन्य राज्यों की भी बिजली व्यवस्था की तकनीक का अध्ययन किया जाए कि कैसे वहां लाइनलास कम किया गया है और लोगों को बेहतर आपूर्ति मिल रही है। उन्होंने कहा कि ट्रांसफारर्मर का जलना बहुत बड़ी समस्या बन गई है इसके लिए ट्रांसफारर्मर जलने पर संबंधित अधिकारी की जवाबदेही तय की जाए और सभी डिस्काम इसका सख्ती से अनुपालन कराएं। उन्होंने निर्देशित किया कि ट्रांसफारर्मर जलने की वृद्धि में कमी लाने के लिए इसकी क्षमता वृद्धि की जाए साथ ही विद्युत आपूर्ति में नवीन तकनीक का प्रयोग किया जाए। उन्होंने कहा कि ट्रांसफारर्मर को नजदीकी केन्द्र पर सुरक्षित तरीके से रखा जाए जिससे की उसकी सप्लाई में कम समय लगे, इस पर ध्यान दें।
ऊर्जा मंत्री श्री ए.के. शर्मा ने कहा कि प्रत्येक डिस्काम यह सुनिश्चित करें की जितनी बिजली दी जा रही है, उतनी राजस्व वसूली भी हो इस पर विशेष ध्यान दें। विभागीय अधिकारी कर्मचारी इमानदारी के के साथ अपने कर्तव्यों का पालन करें, जिससे की ऊर्जा विभाग को सक्षम बनाया जा सके। उन्होंने प्रत्येक फीडर एवं ट्रांसफारर्मर स्तर तक मॉनीटरिंग करने तथा प्रिवेंटिव मेंटीनेंस को समय पर करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि बेहतर व्यवस्था के लिए सर्विलांस सिस्टम को मजबूत किया जाए, समय-समय पर पेट्रोलिंग भी जाए। उन्होंने विभाग के माफियाओं और ऐसे अधिकारियों को सुधारने के लिए सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि कार्यों में सामंजस्य बनाने के लिए नीचे स्तर तक के अधिकारियों/कर्मचारियों के साथ बैठक की जाए। उन्होंने सभी उपभोक्ताओं मीटरिंग, समय पर सही बिलिंग एवं समय पर कनेक्शन देने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि उपभोक्ताओं के मीटर की रैण्डम/क्रास चेकिंग भी कराई जाए इसके लिए अवर अभियन्ता और सुपरवाईजर फील्ड में इसकी जांच करें। उन्होंने गलतियों को सुधारने की दिशा में हरसंभव प्रयास करने तथा आपूर्ति के दौरान बार-बार बिजली ट्रिप होने की व्यवस्था में भी सुधार करने के निर्देश दिए।
इस दौरान प्रदेश के मुख्य सचिव श्री दुर्गा शंकर मिश्र ने कहा कि ऊर्जा विभाग सेवा देने वाला विभाग है और जनता के लिए सबसे अच्छी सेवा देना विभागीय अधिकारियों की जिम्मेदारी बनती है। इसके लिए उन्होंने कहा कि एनर्जी सेक्टर को सस्टेनेबल बनाया जाए। सभी को 24х7 बिजली मिले। शत-प्रतिशत वैध कनेक्शन हो। सभी उपभोक्ताआंे के घर पर मीटर लगे, सभी की सही और समय पर बिलिंग हो और कलेक्शन भी शत-प्रतिशत हो। इसके लिए भविष्य की जरूरतों को ध्यान में रखते हुये एक ठोस कार्ययोजना तैयार करें। साथ ही जटिल प्रक्रिया को सरल भी किया जाए।
मुख्य सचिव ने कहा कि व्यवस्था में टेक्नोलॉजी एवं मैनपावर का बेहतर इस्तेमाल करें। उन्होंने कहा कि आबादी के हिसाब से कनेक्शन कम हैं। सभी को कनेक्शन उपलब्ध कराने के लिये कनेक्शन अभियान चलाया जाये। उन्होंने पूर्वांचल में 60 लाख एवं माध्यांचल में 50 लाख कनेक्शन और बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि विद्युत देयकों की वसूली के लिये अधिशासी अभियंताओं के लिये लक्ष्य निर्धारित करें। मुख्य सचिव ने कहा कि ओटीएस को सफल बनाने के लिये व्यापक प्रचार-प्रसार किया जाए। इस अभियान में ग्राम प्रधानों को जोड़े, कैंप करें, नोटिस इश्यू करें।
प्रमुख सचिव ऊर्जा एवं उ0प्र0 पावर कारपोरेशन के चेयरमैन श्री एम0 देवराज ने कहा कि ऊर्जा विभाग भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति पर कार्य कर रहा है और इस पर संलिप्त पाये गये अधिकारियों एवं कर्मचारियों के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है। उन्होंने कहा कि राजस्व वसूली को बढ़ाने, लाइन हानियों को कम करने, नेवरपेड उपभोक्ताओं से वसूली तथा शतप्रतिशत बिलिंग के लिए बिजली कंपनियों के साथ एमओयू हो चुका है। इसी के आधार पर अधिकारियों के कार्यों का मूल्यांकन किया जायेगा।
बैठक में उ0प्र0 वितरण और उत्पादन निगम के प्रबंध निदेशक श्री पी. गुरू प्रसाद, उ0प्र0 पावर कारपोरेशन के प्रबंध निदेशक श्री पंकज कुमार, सभी डिस्काम के प्रबंध निदेशक के साथ विभाग के उच्चाधिकारी उपस्थित थे।