नई दिल्ली: गुजरात के गोधरा कांड का मुख्य आरोपी फारुक भाणा आज एटीएस के हाथों गिरफ्तार हो गया। साल 2002 के फरवरी में भाणा ने साबरमती एक्सप्रेस में आग लगाने की साजिश रची थी। इस हादसे में 59 लोगों की जान चली गई थी। इस घटना के दूसरे दिन ही गुजरात में दंगा भड़क गया था।
आज एटीएस के हाथों बड़ी कामयाबी लगी है। पुलिस ने 14 साल बाद गोधरा के मुख्य आरोपी को गिरफ्तार किया है। ट्रेन में आग लगने की घटना के बाद गुजरात में दंगे भड़क गए थे। क्राइम ब्रांच के सीपी जे के भट्ट ने बताया कि फारुक भाणा पहले कभी गोधरा नहीं आया लेकिन हाल ही में अपने परिवार से मिलने 5 बार यहां आया है।
पिछले पांच साल भाणा मुंबई में है और आज फिर वो मुंबई भाग रहा था। एटीएस पिछले कुछ महीनों से भाणा की तलाश में जुटी है। आज जाकर वो हमारे हाथ लगा है।
आतंकवाद रोधी दस्ते के अधिकारियों के अनुसार, घटना के समय भाणा गोधरा में पार्षद था। गिरफ्तारी से बचने के लिए वह मुंबई चला गया और वहां जाकर प्रोपर्टी ब्रोकर बन गया। एटीएस के एक अधिकारी ने बताया, एक गुप्त सूचना के आधार पर हमने पंचमहल जिले में कलोल कस्बे के समीप एक टोल प्लाजा से भाणा को पकड़ लिया है।
प्राथमिकी में भाणा पर आरोप लगाया गया है कि गोधरा रेलवे स्टेशन के समीप अमन गेस्ट हाउस में अन्य आरोपियों के साथ बैठक के दौरान उसने एस 6 कोच को आग के हवाले करने की साजिश रची थी। उसने तथा एक अन्य पार्षद बिलाल हाजी ने कथित रूप से अन्य आरोपियों को मौलाना उमरजी से मिले निर्देशों के अनुसार ट्रेन कोच को आग लगाने को कहा था। उमरजी को घटना के मुख्य साजिशकर्ता के रूप में गिरफ्तार किया गया था लेकिन बाद में रिहा कर दिया गया।
एटीएस के अधिकारियों ने बताया कि भाणा को अब सुप्रीम कोर्ट के हवाले कर दिया जाएगा, एसआईटी मामले की जांच कर रही है। थोड़ी देर बाद एटीएस इस मामले की पूरी जानकारी देगी।