देहरादून: अपर सचिव उत्तराखण्ड शासन/निदेशक पंचायती राज सुशील कुमार द्वारा विकासखण्ड रायपुर के सभागर में पंचायत राज विभाग के तत्वाधान मेेेें आयोजित तथा ए.जे.एम.यू.एस. एन.जी.ओ. केे सहयोग से तीन दिवसीय ग्राम प्रधान क्षमता एवं कौशल विकास अभिमुखीकरण प्रशिक्षण कार्यक्रम का समापन किया गया।
इस अवसर पर अपर सचिव पंचायती राज ने अपने सम्बोधन में कहा कि जनप्रतिनिधियों को नये पंचायती राज एक्ट के तहत दिये गये प्रशिक्षण से बहुआयामी लाभ प्राप्त होगा तथा विकासपरक कार्यक्रमों को और अधिक कुशलता से संचालित करने में दक्ष होगें। उन्होने कहा कि प्रशिक्षण देने में जरूर बिलम्ब हुआ है क्योकि पंचायती राज एक्ट बनाने में समय लगा तथा शीघ्र ही इसकी नियमावली बनाकर पंचायतों को सभी 29 विषयों को स्थान्तरित करने की कार्यवाही की जायेगी। उन्होने कहा उत्तराखण्ड महिला सशक्तिकरण के मामले में उत्तराखण्ड अव्वल राज्य है जहंा पर लगभग स्थानीय पंचायतांे में 50 प्रतिशत से उपर महिलाओं की भागीदारी है तथा जरूरत केवल महिलाओं को प्रशिक्षित होकर अपने को सार्थक साबित करने की है।
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी आलोक कुमार पाण्डेय ने कहा कि वर्तमान समय में अधिकारों की बाते अधिक होती है किन्तु कर्तब्यो को लेकर उतनी तत्परता नही दिखती तथा जनप्रतिनिधियों को प्रदान किये गये प्रशिक्षण से उन्हे उनके कर्तब्यों को भलीभांति समझने में सहायता होगी। उन्होने कहा कि ग्राम सभा द्वारा ग्राम विकास बदलाव योजना के तहत ऐसे रचनात्मक कार्यो के भी प्रस्ताव बनाने चाहिए जिनकी ग्राम सभा में स्थानीय स्तर पर अत्यधिक आवश्यकता होती है तथा जनप्रतिनिधियों को कुछ हट कर भी कार्य करके प्रेरणा का भी एक उदाहरण प्रस्तुत करना चाहिए। उन्होने कहा कि वर्तमान समय में प्रत्येक ब्लाक स्तर पर बहुउदृदेशीय रिसोर्स सेन्टर निर्मित किये जा रहे है जिनका आगे न्याय पंचायत एवं ग्राम पंचायत स्तर पर विस्तार किया जायेगा।
इस अवसर पर ब्लाक प्रमुख रायपुर बीना बुहुगुणा, जिला पंचायत राज अधिकारी एम.एम. खान, खण्ड विकास अधिकारी सुमन कुटियाल सहित सभी ग्राम प्रधान उपस्थित थे।