देहरादून: उत्तराखंड बचाओ आंदोलन के तहत उत्तराखंड के बुद्धिजीवी एवं समाज सेवकों के द्वारा नई दिल्ली के गढ़वाल भवन में एक बैठक का आयोजन किया गया जिसकी अध्यक्षता समाजसेवी श्री जगदीश भट्ट ने की। इस बैठक में उत्तराखंड के वर्तमान हालातों पर चर्चा किया गया एवं उत्तराखंड के बेटी अंकिता भंडारी की हत्या एवं उत्तराखंड सरकार की गैरजिम्मेदार हरकतों के खिलाफ एकजुट होकर उत्तराखंड के लोग आगामी 9 अक्टूबर 2022 को दिल्ली के जंतर मंतर पर धरना देंगे का निर्णय लिया गया।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए श्री जगदीश भट्ट ने कहा कि यह हमारे लिए बहुत ही निंदनीय है कि हमारी एक बेटी की हत्या कर दी जाती है और सरकार दोषियों को सजा देने के बजाय जांच पर जांच के आदेश दिए जा रहे हैं। इसके अलावा उत्तराखंड के अंदर अनंत ऐसे घोटाले हैं जो नेताओं और मंत्रियों के इर्द-गिर्द घूम रहे हैं परंतु सरकार के कानों पर जू तक नहीं रेंगती। उन्होंने कहा हम सभी समाज सेवक मिलकर उत्तराखंड को एक नया विकल्प दे सकते हैं एवं यह पहला विकल्प होगा जहां पर उत्तराखंड के लोग सामाजिक राजनीतिक संगठन के साथ मिलकर जन आंदोलन के तहत उत्तराखंड का नव निर्माण करेंगे। जो एक सुरक्षित, बेहतर और समृद्ध उत्तराखंड के पथ पर अग्रसर होगा।
श्री जगदीश भट्ट ने उत्तराखंड बचाओ आंदोलन को समर्थन दे रहे सभी लोगों से निवेदन किया है कि वे सभी अधिक से अधिक संख्या में 9 अक्टूबर को प्रातः 11ः00 बजे से लेकर शाम 4ः00 बजे तक जंतर मंतर पर मौजूद रहे एवं इस आंदोलन को समर्थन दें उन्होंने कहा कि मैं तमाम उत्तराखंड वासी जो दिल्ली में रह रहे हैं उनसे भी निवेदन करता हूं कि वे सभी लोग अपना थोड़ा सा वक्त निकाल कर इस आंदोलन में शामिल हो और एक प्रगतिशील उत्तराखंड के निर्माण में अपना सहयोग दें।
बैठक में श्री विजय डोभाल जी (जो राजस्थान से आए थे), जगदीश सिंह बोरा (एडवोकेट), डॉ. तिलोमनी भट्ट जी, दीप पांडे, रवींद्र सिंह रावत एवं भगवान सिंह जी मौजूद रहे।